बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री एवं राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पीएम बनने के अपने महत्वाकांक्षी सपने के दबाव में भ्रष्टाचार से समझौता कर लिया और वे चारा घोटाला से लेकर जमीन के बदले नौकरी घोटाले तक में संलिप्त लालू परिवार को बचाने में लगे हैं. उन्होंने कहा कि जांच एजेंसियों की कार्रवाई होने पर बार-बार लालू परिवार को फंसाने का जो झूठा प्रचार किया जाता है, उसमें कोई दम होता, तो लालू प्रसाद चारा घोटाला के सभी पांच मामलों में अदालत से दोषी नहीं पाये जाते.
सुशील मोदी ने कहा कि 2008 में लालू प्रसाद के विरुद्ध भ्रष्टाचार के मामलों की जांच के लिए स्व. शरद यादव और ललन सिंह ने पहल की थी. जदयू ने सारे दस्तावेज सीबीआइ को उपलब्ध कराये और तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को ज्ञापन भी दिया था. आज यही लोग लालू प्रसाद पर कार्रवाई रोकने के लिए प्रधानमंत्री को चिट्ठी लिख रहे हैं. लालू प्रसाद ने सत्ता में रहते हुए यही बस एक ही मंत्र अपनाया तुम मुझे जमीन दो, मैं तुम्हें नौकरी दूंगा. उन्होंने कहा कि हर काम के लिए जमीन लेते हुए गरीब परिवार में जन्मे लालू प्रसाद सबसे बड़े जमींदार बन गये. उनके पास पटना में एक लाख वर्गफुट से ज्यादा कीमती जमीन है.
• भ्रष्टचार से समझौता कर लालू परिवार को बचा रहे नीतीश कुमार
• 2008 में लालू प्रसाद के विरुद्ध जांच के लिए शरद यादव,ललन सिंह ने पहल की थी
• JDU ने सारे दस्तावेज सीबीआई को उपलब्ध कराये थे
• ललन सिंह ने मनमोहन सिंह को दिया था ज्ञापन,आज कार्रवाई रोकने के लिए चिट्ठी लिख रहे— Sushil Kumar Modi (@SushilModi) March 10, 2023
भाजपा नेता ने कहा कि तेजस्वी प्रसाद यादव को बताना चाहिए कि वे दिल्ली की न्यू फ्रेंड्स कालोनी में अरबों रुपये के चार मंजिला मकान के मालिक कैसे बन गये? तेजस्वी यादव ने इंटरमीडिएट तक भी पढ़ाई नहीं की, क्रिकेट में विफल रहे, लेकिन बिना कोई उद्योग-व्यापार किये मात्र 29 साल की उम्र में वे 52 संपत्तियों के मालिक कैसे बन गये? क्या इसकी जांच नहीं होनी चाहिए ?
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राज्यसभा सांसद सुशील मोदी ने कहा कि लालू प्रसाद ने विधायक, सांसद, मंत्री, एमएलसी बनावाने के बदले कीमती जमीनें परिवार के सदस्यों के नाम से लीं और खुद ही पूरे परिवार को फंसा दिया. उन्हें किसी दूसरे ने नहीं फंसाया. पूर्व विधायक अबु दोजाना वही हैं, जो पटना में तेजस्वी यादव का 750 करोड़ का मॉल बनवा रहे थे.