बिहार के प्राथमिक से लेकर उच्च माध्यमिक स्कूलों के लिए होने वाली विद्यालय अध्यापकों की नियुक्ति के लिए तेजी से काम हो रहा है. शिक्षक नियुक्ति की नयी नियमावली के तहत होने वाली इस भर्ती के लिए तकनीकी तौर पर आरक्षण प्रावधानों को लागू करने के लिए रोस्टर क्लियरेंस कराना बाकी रह गया है. शिक्षा विभाग ने करीब-करीब इसकी तैयारी पूरी कर ली है. संभवत: गुरुवार को रोस्टर क्लियरेंस के लिए जिलों में फाइल भेजी जा सकती है.
तेजी से हो रही नियोजन की तैयारी
आधिकारिक जानकारी के मुताबिक रिक्त एवं सृजित पदों को आवश्यकतानुसार जिलों को बांटा जायेगा. किन विषयों में कितने शिक्षक होंगे, इसका जिलावार विभाजन किया जायेगा. जरूरत पड़ने पर विषयवार पदों को विद्यालय वार भी बांटा जायेगा. फिलहाल शिक्षा विभाग नियोजन की तैयारियों को समय बद्ध तरीके से तेजी से पूरा करने में लगा है.
1.78 लाख शिक्षकों की होने है भर्ती
बता दें कि बिहार लोकसेवा आयोग (बीपीएससी) के माध्यम से राज्य में 1.78 लाख शिक्षकों की नियुक्ति की जाएगी. इसके लिए शिक्षा विभाग के प्रस्ताव पर मंगलवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट ने अपनी मोहर लगा दी है. इसके बाद अब नियुक्ति के लिए प्रक्रिया में तेजी आई है.
जल्द ही तैयार होगा सिलेबस
बताया जा रहा है कि शिक्षक नियुक्ति के लिए जल्द ही परीक्षा का सिलेबस भी तैयार किया जायेगा. 15 मई तक परीक्षा के स्वरूप, प्रारूप और पूछे जाने वाले प्रश्नों से संबंधित जानकारी सार्वजनिक कर देने की तैयारी है, ताकि शिक्षक अभ्यर्थी समय से तैयारी कर सकें. मई महीने के अंत तक बीपीएससी की ओर से परीक्षा बहाली का विज्ञापन भी प्रकाशित कर दिये जाने की उम्मीद है.
शिक्षकों का वेतन किया गया फिक्स
इसके साथ ही राज्य सरकार की ओर से शिक्षकों के लिए मूल वेतन पर भी मुहर लगा दी गयी है. कैबिनेट फैसले के अनुसार 11वीं से 12वीं कक्षा के अध्यापकों का मूल वेतन 32 हजार, 9वीं से 10वीं का 30 हजार, छठी से आठवीं का 28 हजार और पहली से 5वीं वर्ग के शिक्षकों का 25 हजार मूल वेतन फिक्स किया गया है.