बिहार: छात्रों ने नकारा केके पाठक का फरमान! राखी पर नहीं पहुंचे स्कूल, शिक्षकों ने काली पट्टी बांध जताया विरोध

बिहार शिक्षा विभाग द्वारा बीते दिनों आदेश जारी कर रक्षाबंधन की छुट्टी को रद्द कर दिया गया था. ऐसे में आज शिक्षक तो स्कूल आने के लिए मजबूर थे. लेकिन बच्चों ने इस आदेश को नहीं माना. राज्य के अधिकांश विद्यालयों में उपस्थिति शून्य रही. कुछ स्कूलों में बच्चे पहुंचे भी तो उनकी संख्या बहुत कम थी.

By Anand Shekhar | August 31, 2023 5:34 PM
an image

पश्चिम चंपारण/सारण/सीतामढ़ी: बिहार में सरकारी आदेश के बाद अचानक रद्द हुई सरकारी स्कूलों में छुट्टी ने रक्षा बंधन पर्व को फींका तो किया ही शिक्षक ड्यूटी के फर्ज को लेकर बेबस नजर आये. छुट्टी रद्द होने का आक्रोश स्कूलों से लेकर चारों तरफ साफ साफ दिखाई दे रहा था. स्कूलो में एक भी बच्चे पढ़ने नहीं आये. इस बात से खफा शिक्षको व शिक्षिकाओं में आक्रोश भी चरम पर रहा. शिक्षकों ने सरकार के इस फैसले के विरोध में टीइटी शिक्षक संघ पश्चिम चंपारण के आह्वान पर अपने मुंह और बांह पर काली पट्टी बांधकर सांकेतिक रूप से अपना विरोध- प्रदर्शन किया.

एक भी बच्चा नहीं पहुंचा स्कूल

जिले के थरूहट क्षेत्र राजकीय प्राथमिक विद्यालय धर्मपुर गौनाहा में केवल तीन महिला शिक्षक क्रमश: सोनी कुमारी सिन्हा , रीमा देवी और लक्ष्मी कुमारी पदस्थापित हैं. प्रधान शिक्षिका सोनी कुमारी ने बताया कि वे अचानक छुट्टी रद्द होने पर स्कूल पहुंची पर स्कूल में एक भी बच्चे नहीं थे. लेकिन आदेश के बाद तो स्कूल पहुंचना ही था. अब कर भी क्या सकते हैं.

भाइयों को राखी नहीं बांध पाने का शिक्षिकाओं में दर्द

शिक्षिकाओं ने बताया कि वो अपने भाइयों को राखी नहीं बांध पायी. इस बीच छुट्टी रद्द होने पर राजकीय उत्क्रमित मध्य विद्यालय पकड़ी की शिक्षिकाएं क्रमश: खुशबू कुमारी, निधि कुमारी, रागनी कुमारी, शीला कुमारी, अंजली किरण, अलवर्ट मालविका बोस ने पेड़ को राखी बांध कर रक्षा बंधन का त्योहार मनाया और छुट्टी रद्द होने पर आक्रोश जताया.

बेबस व बुझे मन से शिक्षकों ने की ड्यूटी

ऐसा नहीं है कि छुट्टी रद्द होने पर केवल महिला शिक्षिकाओं के मन में आक्रोश रहा पुरुष शिक्षक भी राखी नहीं बंधवा पाने के मलाल में डूबे रहे. शिक्षक अनिल कुमार श्रीवास्तव, वीरेन्द्र सिंह, प्रकाश कुमार गुप्ता आदि ने बताया कि ऐसा पहली बार हुआ है जब वे राखी बंधवाने की जगह स्कूल में हैं. अनुमंडल के हर कोने में ऐसी ही स्थिति रही. कहीं सरकारी आदेश के प्रति आक्रोश रहा तो कही मन में दबा वो आदेश का भय जिसमें बेबस व बुझे मन से शिक्षक डयूटी निभाते नजर आये.

शिक्षकों ने मुंह और बांह पर बांधी काली पट्टी

टीइटी शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष राहुल राज, शिक्षिका प्रकोष्ठ प्रभारी ममता शिखा, उपाध्यक्ष रामप्रवेश गुप्ता, राजन कुमार यादव ने बताया कि शिक्षा विभाग बिहार द्वारा विद्यालयों के लिए पूर्व से घोषित अवकाश में कटौती का तुगलकी और तानाशाही भरा फरमान जारी किया गया है. जिसका हम सभी शिक्षक कड़े शब्दों में निंदा करते है और सरकार के इस आदेश के विरोध में आज रक्षाबंधन के दिन सभी शिक्षक – शिक्षिकाओं ने अपने मुंह और बांह पर काली पट्टी बांधकर सरकार और विभाग के प्रति अपने विरोध का प्रदर्शन किया है.

आदेश वापस नहीं होने पर होगा आंदोलन

वहीं जिला संयोजक उपेंद्र कुमार, सचिव तारिक हुसैन, मीडिया प्रभारी राजन कुमार पटेल कोषाध्यक्ष अविनाश कुमार ने बताया कि सरकार के तुगलकी फरमान के विरोध में गांधी की कर्मभूमि पर कार्यरत शिक्षकों ने इस निरंकुश सरकार के विरोध में आंदोलन का शंखनाद किया है. यदि सरकार अपने आदेश को वापस नही लेती है तो पूरे बिहार में उग्र आंदोलन किया जाएगा.

सारण के स्कूलों में भी छात्र-छात्राओं की संख्या रही शून्य

इधर सारण जिला के स्कूलों में रक्षाबंधन पर पहली बार शिक्षक-शिक्षिकाएं विद्यालयों में नौ से चार बजे तक जमे रहे. जबकि छात्र-छात्राओं की संख्या शून्य रही. शिक्षा विभाग व राज्य सरकार के द्वारा 31 अगस्त को घोषित छुट्टी रद्द कर दिये जाने से शिक्षक व शिक्षक संघ ने काफी नराजगी प्रकट की है.

शिक्षक भाइयों को बहनों ने स्कूल पहुंच कर बांधी राखी

वहीं रक्षाबंधन की छुट्टी रद्द होने पर कई विद्यालयों में शिक्षक भाइयों की बहनें विद्यालय पहुंची कर उन्हें राखी बांधी तथा भाइयों की सुरक्षा के लिए भाई की लंबी उम्र की विनती की. वहीं महिला शिक्षिकाओं के भाई भी विद्यालय में पहुंचकर अपनी बहनों से राखी बंधवाई.

बिना बच्चों के कैसे होती है पढ़ाई, पहली बार चला पता : प्राथमिक शिक्षक संघ

प्राथमिक शिक्षक संघ के अध्यक्ष महेश्वर सिंह व सचिव मुन्ना प्रसाद ने शिक्षा विभाग व राज्य सरकार को कोसते हुए कहा कि कई दशकों से चली आ रही रक्षाबंधन की छुट्टी को एक झटके में रद्द कर दिया गया. शिक्षा विभाग व राज्य सरकार को निशाना बनाते हुए उन्होंने कहा कि पहली बार विद्यालय आकर ज्ञान हुआ कि बिना बच्चों के पढ़ाई कैसे होती है.

शिक्षा विभाग ने रद्द कर दी रक्षाबंधन की छुट्टी

बता दें कि 29 अगस्त को शिक्षा विभाग की तरफ से अवकाश के संदर्भ में जारी पत्र में रक्षाबंधन को गुरुवार को अवकाश घोषित नहीं किया है. जबकि एक दिन पहले आदेश जारी कर रक्षाबंधन के अवकाश को पूर्व निर्धारित तिथि 30 अगस्त की जगह 31 अगस्त को निर्धारित कर दिया गया. उसके बाद एकाएक राज्य सरकार व शिक्षा विभाग द्वारा आदेश जारी किया गया कि रक्षाबंधन की छुट्टी रद्द कर दिया गया.

Also Read: बिहार में एक दशक से अटकी दो एनएच परियोजनाएं जून 2024 तक होंगी पूरी, इन जिलों के लोगों को होगी सहूलियत

काली पट्टी बांध कर शिक्षकों ने किया घोषित छुट्टी को रद्द करने का विरोध

सीतामढ़ी के बेलसंड में भी छुट्टी रद्द किये जाने के विरोध में प्रारंभिक शिक्षक कल्याण संघ के जिला उपाध्यक्ष शशि रंजन के नेतृत्व में प्रखंड के सभी शिक्षकों ने रक्षा बंधन के दिन विद्यालय में काली पट्टी बांधकर कार्य किया. संघ के जिला सचिव दीपक कुमार सिंह ने कहा कि इस महान पर्व में पूर्व से घोषित छुट्टी को रद्द करना शिक्षकों के धार्मिक आस्था पर प्रतिघात है. प्रखंड अध्यक्ष लालबाबू दास ने कहा कि जब तक शिक्षा विभाग अपना फरमान वापस नहीं ले लेता, तब तक विरोध जारी रहेगा.

Exit mobile version