बिहार में एलपीजी ग्राहकों के खाते में नहीं आ रही सब्सिडी की राशि, जानिये कहां है दिक्कत
बैंकों के मर्ज हो जाने के के कारण बड़ी संख्या में ऐसे एलपीजी उपभोक्ता हैं, जिनका खाता आधार से डिलिंक हो गया है.
पटना एलपीजी उपभोक्ताओं के खाते में सब्सिडी नहीं आ पा रही है. सरकार की ओर से लगभग नियमित सब्सिडी राशि उपभोक्ताओं को भेजने का दावा भले किया जा रहा हो, लेकिन सब्सिडी नहीं आने की समस्या बनी हुई है.
दूसरी तरफ बैंक खाते से आधार डिलिंक होने के कारण भी सूबे के हजारों एलपीजी ग्राहकों को सब्सिडी मिलने में परेशानी हो रही है. मिली जानकारी के अनुसार बैंकों के मर्ज हो जाने के के कारण बड़ी संख्या में ऐसे एलपीजी उपभोक्ता हैं, जिनका खाता आधार से डिलिंक हो गया है.
इसके कारण ग्राहकों को सब्सिडी राशि खाते में नहीं आ पा रही है. वैसे ग्राहकों को संबंधित कंपनी की एजेंसी के प्रबंधक फिर से बैंक खातों को आधार से लिंक कराने को कहा जा रहा है. फिलवक्त सूबे में तीनों सार्वजनिक तेल कंपनियों (आइओसी, बीपीसी और एचपीसी) के 206.02 लाख उपभोक्ता हैं. इनमें पटना जिले में 15.04 लाख एलपीजी के उपभोक्ता हैं.
सब्सिडी देने में तेल कंपनियों की भूमिका नहीं
इंडियन ऑयल काॅरपोरेशन की मुख्य प्रबंधक (बिहार –झारखंड ) वीणा कुमारी ने बताया कि उपभोक्तओं को सब्सिडी की राशि सरकार की ओर से सीधे उनके बैंक खाते में डाली जाती है. इसमें तेल कंपनियों की भूमिका नहीं है. सब्सिडी की राशि नेशनल पेमेंट काॅरपोरेशन ऑफ इंडिया के माध्यम से उपभोक्ताओं के खाते में भेजी जाती है.
वहीं बिहार एलपीजी वितरक संघ के महासचिव डॉ रामनरेश प्रसाद सिन्हा ने बताया कि कुछ साल पहले सरकार कंपनियों को ही सब्सिडी राशि देती थी, तो कंपनी एलपीजी सिलिंडर का प्राइस कम रखती थी, लेकिन नये प्रावधान के बाद एलपीजी सिलिंडर पर मिलने वाली राशि सरकार की ओर से भेजी जाने लगी.
पांच माह पहले तक सब्सिडी राशि थी बंद
मिली जानकारी के अनुसार सब्सिडी का पैसा ग्राहक के खाते में ट्रांसफर कर दिया गया है. हालांकि कुछ ग्राहकों को कुछ महीनों की राशि जोड़ कर 158.52 रुपये या 237.78 रुपये मिल रहे हैं. इसके कारण अब भी असमंजस की स्थिति बनी हुई है.
ज्ञात हो कि पिछले पांच माह पहले तक सब्सिडी राशि कुछ तकनीकी कारणों से बंद थी. लेकिन अब शिकायतें आनी काफी कम हो गयी हैं. कंपनियों के अधिकारियों ने बताया कि जनवरी 2015 में शुरू हुई डीबीटी स्कीम के तहत ग्राहकों को बिना सब्सिडी के एलपीजी सिलिंडर की पूरी राशि का भुगतान करना होता है.