किशनगंज/अररिया. एक दिन की बारिश में ही सीमांचल के दो शहर किशनगंज और फारबिसगंज पानी-पानी हो गया. किशनगंज में रेलवे स्टेशन परिसर और ट्रैक पर पानी लबालब भर गया . परिसर में जलभराव के कारण यात्रियों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा. दूसरी ओर अररिया जिले के फारबिसगंज शहर में जिसे आमजन रेणुमाटी भी कहते हैं. दिनों से बरसात के पानी मे पानी-पानी है. सदर रोड वाली मुख्य सड़क पर ढाई से तीन फीट पानी जमा है. जिसके कारण आम जनजीवन प्रभावित हो गया है. दुकानों और घरों में नाला का गंदा पानी घरों में प्रवेश कर गया ह. ऊपर से इन्द्र देव की मेहरबानी तो नीचे नगर परिषद के कार्यशैली की कुर्बानी का खामियाजा आमजनों को भुगतना पड़ रहा है.
किशनगंज के स्थानीय लोगों का कहना है कि यह समस्या किसी एक दिन की नहीं है, यहां बारिश होने के बाद स्टेशन परिसर और ट्रैक पर पानी भर जाता है. उसके बाद भी रेल प्रशासन पानी की निकासी और स्टेशन की मरम्मत के लिए कोई पुख्ता इंतजाम करने को तैयार नहीं है. इसका खामिजाया यात्रियों को भुगतना पड़ रहा है. एक यात्री ने बताया की रेलवे प्लेटफार्म पर जलभराव होने से यात्रियों को प्लेटफार्म पर जाने में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. स्टेशन का रेलवे ट्रैक भी पानी में डूब गया है. राजधानी से लेकर कई महत्वपूर्ण ट्रैन भी पानी में डूब पटरियों से होकर गुजर रही हैं. उनका आरोप है कि रेलवे प्रशासन द्वारा पानी की निकासी की व्यवस्था नहीं किए जाने से ऐसी समस्या उत्पन्न हो रही है. रेल यात्री का कहना है कि रेलवे यात्रियों से सालाना खूब कमाई करती है, लेकिन उसके बाद भी स्टेशन की मरम्मत के लिए रेलवे द्वारा कोई पुख्ता इंतजाम नहीं होता है.
फारबिसगंज शहर के बरसात के पानी में डूबने से आहत शहरवासी नगर परिषद की कार्यशैली पर अपना भड़ास निकाल रहे हैं.न केवल बाजार के मुख्य सड़क बल्कि अगल-बगल के मंडियों में भी बरसात के कारण गंदगी और कीचड़ ने लोगों का जीना मुहाल कर दिया है.बरसात और जल जमाव के कारण दुकानदार अपने प्रतिष्ठानों को बंद कर रखा है और फिर सवाल भी है तो खोले भी तो ग्राहक वाटरपार्क वाला मजा लेकर दुकान तक आने वाले हैं नहीं.