राघोपुर हत्याकांड में एक दोषी करार
हाजीपुर : राघोपुर प्रखंड के रामपुर श्यामचंद गांव में छह लोगों को जिंदा जला देने के मामले में एक आरोपित को अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश एएन उपाध्याय ने दोषी साबित किया है. ज्ञात हो कि एक जनवरी, 2006 को प्रदेश के चर्चित हत्याकांड, जिसमें घर में सोयी मां के साथ उसके चार बच्चों को […]
हाजीपुर : राघोपुर प्रखंड के रामपुर श्यामचंद गांव में छह लोगों को जिंदा जला देने के मामले में एक आरोपित को अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश एएन उपाध्याय ने दोषी साबित किया है.
ज्ञात हो कि एक जनवरी, 2006 को प्रदेश के चर्चित हत्याकांड, जिसमें घर में सोयी मां के साथ उसके चार बच्चों को किवाड़ बंद कर घर में आग लगा दी गयी थी, जिसमें सभी जिंदा जल गये थे. इसके साथ ही घर से बाहर सोये एक व्यक्ति को भी जला दिया गया था. मामले को देखते हुए वर्तमान मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव ने तत्काल घटना स्थल का दौरा किया था. मामले में त्वरित कार्रवाई करते हुए पुलिस ने एक को पकड़ लिया था.
मामला भूमि विवाद का बताया गया था. इस लोमहर्षक घटना की सभी ने कड़ी निंदा की थी. प्रशासन ने तत्काल आरोपितों को सजा दिलाने की बात कही थी, लेकिन सात साल बाद सजा सुनायी जा रही है. सजा के बिंदु पर सात जून को सुनवाई होगी. इस मामले में एपीपी राजेश्वर सिंह ने बहस की.
दूसरी ओर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी आरएन त्रिपाठी ने आग्नेयास्त्र अधिनियम के तहत एक व्यक्ति को तीन साल की सजा और पांच हजार का अर्थदंड लगाया है. लालगंज थाना के खंजाहा चक गांव में आम के बगीचे में डाल काटने के विवाद को लेकर वर्ष 1980 में शिव नारायण शुक्ला और सुदिष्ट शुक्ला के बीच मारपीट हुई थी, जिसमें सुदिष्ट पर एक मामला दर्ज कराया गया था.