हाजीपुर : हरी चूड़ियों की खनखनाहट से बाजार गूंज रहे हैं. चूड़ियां महिलाओं और युवतियों की खास पसंद हैं. वर्तमान में सावन और ईद दोनों दमदार पर्व सामने हैं, जिससे इनके विक्रेता हर्षित हैं.
सावन–भादों के महीने में श्रृंगार और श्रृंगार पर साहित्यकारों व कवियों ने अपनी रचनाओं तक विशेष स्थान दिया है. इस माह में सभी एकाकार हो जाते हैं. शास्त्रों और ग्रंथों के अनुसार भारतीय संस्कृति की मान्यताओं के अनुसार भगवती पार्वती को प्रकृति की संज्ञा दी गयी है. धरती को मां कहा गया है. प्रकृति इस समय पूरे श्रृंगार से युक्त होती है. उस पर भी हरे होने का गर्व होता है. हर हरा ही हरा होता है. नगर के बाजारों में हरे रंग की चूड़ियों ने अपना कब्जा जमा लिया है. हर सौंदर्य प्रसाधन की दुकानों पर रंग बिरंगी चूड़ियों की भरमार है, जो महिलाओं को अपनी ओर आकर्षित कर रही हैं.
नगर का सबसे प्रसिद्ध बाजार गुदरी बाजार में हर चूड़ी की दुकान पर हरे रंग की चूड़ी ही है. पुराने समय में चूड़िहारिनें महिलाओं के आवास पर ही जाकर चूड़ी पहनाती थीं, जिसका कारण था कि उस समय परदा प्रथा ज्यादा थी, जिससे महिलाएं घर से बाहर कम ही निकला करती थीं. वर्तमान में कंपनी और क्वालिटी के आधार पर इनकी कीमत बाजार में आंकी जा रही है.
गुदरी बाजार में स्थित प्रियंका गिफ्ट कॉर्नर के संचालक मुकेश सिंह ने कहा कि इस माह में बिक्री अच्छी होती है. सामान भी उम्दा आता है.