पार्श्व गायक मोहन राठौर के गीतों पर झूम उठे श्रोता

हाजीपुर : मुंबई के पार्श्व गायक मोहन राठौर ने सोनपुर हरिहर क्षेत्र मेले में जब अपनी तान छेड़ी, तो सुनने वाले मंत्र मुग्ध हो कर रह गये. भक्ति, फिल्मी और पंजाबी गीतों के समंदर में देर रात तक श्रोता डूबते-उतराते रहे. राठौर ने भी हर वह गीत सुनाये, जिन्हें लोग पसंद करते थे. उनकी पहला […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 5, 2016 6:14 AM

हाजीपुर : मुंबई के पार्श्व गायक मोहन राठौर ने सोनपुर हरिहर क्षेत्र मेले में जब अपनी तान छेड़ी, तो सुनने वाले मंत्र मुग्ध हो कर रह गये. भक्ति, फिल्मी और पंजाबी गीतों के समंदर में देर रात तक श्रोता डूबते-उतराते रहे. राठौर ने भी हर वह गीत सुनाये, जिन्हें लोग पसंद करते थे. उनकी पहला गीत आजा शेर पर सवार होके माई हो,

पर लोग पूरी तरह भक्ति में डूब गये. इसके बाद निमिया के डढ़िया मईया मोरी झूली-झूली ना में देर तक श्रोता झूमते रहे. इसके बाद पिया गइले कलकतवा ऐ सखिया, सावन में लग गयी कि दिल मेरा है, ने लोगों को ताली बजाने पर विवश कर दिया. सासू जी न घरवा ससुर जी दुवरवा, आटा साने गइली कि गीत कई दिउलु, सोनपुर के मेला में हेरायल पिया झूलनी जैसे सामाजिक गीतों को सुना कर लोगों का दिल मोह लिया. इसके बाद पंजाबी टू हो गयी वन टू टू पर लोग दंग रह गये. बाद में श्री राठौर ने कहा कि सोनपुर एक धार्मिक स्थल है. इस स्थान पर गीत प्रस्तुत करना बड़ी बात है. अगर संभव हुआ तो वे अगले साल भी आयेंगे.

ओडिसी नृत्य को अपलक निहारते रहे दर्शक
कोलकाता की श्रीराधा पॉल ओडिसी नृत्य प्रस्तुत किया. उनके नृत्य का रूप दुर्गा वंदना था. जब पॉल ने इसे प्रारंभ किया तो पूरा माहौल भक्ति में सराबोर हो गया. अगरबत्ती जलाना, उनकी स्तुति करना सब कुछ इस में था. लोग चुपचाप इसे देखते रहे. ऐसा लगा जैसे मां दुर्गा साक्षात आ गयी हों. ग्रामीण महिलाओं ने हाथ भी जोड़ लिये. इसके बाद शंकर वंदनम पल्लवी गीत को प्रस्तुत किया. जिसमें शंकर के हर रूप को दिखाया गया. एक अन्य नृत्य प्रस्तुति में पॉल ने राधा और उनकी सखियों के साथ कदंब के पेड़ के आसपास क्रीड़ा कैसे कर रही हैं. इसे दिखाया. इसमें तबले पर रोहित प्रधान, गायन दे रहे थे मनोज कुमार माटी और वायलिन पर प्रदीप कुमार महाराज थे.

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