जिले में अगलगी से लगभग 100 घर जले
आपदा. तेज पछुआ हवा ने आग को भड़काया, अगलगी की घटना में लाखों की संपत्ति राख पटेढ़ी बेलसर : ओपी क्षेत्र के जारंग रामपुर गांव में गुरुवार की दोपहर अचानक आग लग जाने से बीस घर जल कर खाक हो गये. इस अग्नि कांड में 10 लाख से अधिक रुपये की क्षति का अनुमान है. […]
आपदा. तेज पछुआ हवा ने आग को भड़काया, अगलगी की घटना में लाखों की संपत्ति राख
पटेढ़ी बेलसर : ओपी क्षेत्र के जारंग रामपुर गांव में गुरुवार की दोपहर अचानक आग लग जाने से बीस घर जल कर खाक हो गये. इस अग्नि कांड में 10 लाख से अधिक रुपये की क्षति का अनुमान है. गरमी की धमक और तेज पछुआ हवा ने आग में घी का काम किया. कुछ ही घंटों में एक घर धू-धूकर जलकर खाक हो गया. इस अग्नि कांड में चार बकरियां भी जल कर मर गयी. ग्रामीणों ने निजी पंपसेट और चापाकल से पानी चलाकर आग बुझाने का प्रयास किया.
सूचना मिलते ही दमकल भी पहुंचा. तब जाकर आग पर काबू पाया गया. जानकारी के अनुसार गुरुवार की दोपहर रामनाथ साह के घर में अचानक आग पकड़ लिया. कुछ ही मिनटों में घर और उसमें रखे सभी सामान जल कर नष्ट हो गये. तेज पछुआ हवा होने से आग ने विकराल रूप धारण कर एक के बाद एक 20 घरों को अपने आगोश में लेते चला गया. पीड़ित परिवार के सदस्यों ने भाग कर जान बचायी. घर में रखे अनाज, कपड़ा, जेवर, नकद रुपया, बरतन सहित सभी सामान भी जल कर राख हो गये.
अगलगी की इस घटना में रामनाथ साह के अलावा राजकुमार साह, शंभु लाल साह, नवीन कुमार, संतलाल साह, वीरेंद्र साह, उपेंद्र साह, संजीव कुमार सिंह, जितेंद्र साह, रमन सिंह, मुकेश सिंह, मनोज कुमार सिंह, भूषण सिंह, रंजीत कुमार साह, रवींद्र सिंह, नारायण साह, शिव लाल साह, मालती देवी, लीला देवी तथा वीरेंद्र सिंह के घर तथा उसमें रखी संपत्ति जल गयी. अग्निपीड़ित परिवारों ने बेलसर ओपी में आग से घर जलने को लेकर आवेदन दिया है. सीओ विवेक कुमार मिश्रा ने बताया की राजस्व कर्मचारी से आग से हुई क्षति की रिपोर्ट मांगी गयी है.
पीड़ित परिवार को सरकारी सहायता दी जा रही है. अगलगी की घटना ने सभी परिवारों को खुले आसमान के नीचे ला दिया है. उसी पीड़ित में से एक परिवार के अरमानों को भी जला डाला. अपनी बेटी का हाथ पीला करने की पूरी तैयारी के बाद आग ने सभी सपनों को जला कर खाक कर दिया. शंभु साह की पुत्री सुषमा की शादी के मात्र 15 दिन ही शेष बचे थे. घर में शादी की सभी तैयारियां करीब-करीब पूरी हो चुकी थी. लेकिन आग ने उनके सपनों को जला कर खाक कर दिया. इस चिंता में शंभु साह और उनकी पत्नी बार-बार बेहोश हो जा रहे थे.