दिल्ली हिंसा मामलाः हाईकोर्ट ने जामिया की सफूरा जरगर को दी इन शर्तों पर जमानत

उत्तर पूर्वी दिल्ली में हुई हिंसा मामले में गिरफ्तार जामिया कॉर्डिनेशन कमेटी की सदस्य सफूरा जरगर को मंगलवार को दिल्ली हाईकोर्ट ने जमानत दे दी है. उसे हिंसा के आरोप में गैर कानूनी गतिविधियां निरोधक अधिनियम (यूएपीए) के तहत गिरप्तार किया गया था.

By Utpal Kant | June 23, 2020 3:03 PM

उत्तर पूर्वी दिल्ली में हुई हिंसा मामले में गिरफ्तार जामिया कॉर्डिनेशन कमेटी की सदस्य सफूरा जरगर को मंगलवार को दिल्ली हाईकोर्ट ने जमानत दे दी है. उसे हिंसा के आरोप में गैर कानूनी गतिविधियां निरोधक अधिनियम (यूएपीए) के तहत गिरप्तार किया गया था. कोर्ट ने सफूरा को निर्देश दिया है कि वह ऐसी किसी भी गतिविधि में शामिल न हो जिससे मामले की जांच-पड़ताल में बाधा आए.

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लाइव लॉ की रिपोर्ट के मुताबिक, दिल्ली हाई कोर्ट ने कहा है कि वह दिल्ली से बाहर नहीं जा सकती है. इसके लिए पहले उसे अनुमति लेनी होगी. सरकार की ओर से हाईकोर्ट में पेश हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने दलील दी कि कि जमानत अवधि के दौरान सफूरा जरगर दिल्‍ली छोड़कर कहीं न जाएं.

इस पर जामिया की छात्रा की ओर से पेश वरिष्‍ठ अधिवक्‍ता ने बताया कि सफूरा को अपने डॉक्‍टर से सलाह लेने के लिए फरीदाबाद जाना पड़ सकता है. केंद्र की स्‍वीकृति को देखते हुए जस्टिस राजीव की पीठ ने 10 हजार रुपये के निजी मुचलके पर सफूरा जरगर को सशर्त जमानत दे दी. गौरतलब है कि तिहाड़ जेल में बंद सफूरा जरगर गर्भवती हैं. उसे 10 अप्रैल को गिरफ्तार किया गया था.

दिल्ली पुलिस ने 22 जून को दिल्ली हाई कोर्ट के सामने जरगर की जमानत याचिका का विरोध किया और कहा कि उनकी गर्भावस्था से अपराध की गंभीरता कम नहीं हो जाती है.पुलिस ने अपनी स्थिति रिपोर्ट में कहा कि आरोपी महिला के खिलाफ स्पष्ट और ठोस मामला है और इस तरह वह गंभीर अपराधों में जमानत की हकदार नहीं हैं, जिसकी उन्होंने सुनियोजित योजना बनाई और उसे अंजाम दिया.

ताहिर हुसैन के ठिकानों पर छापेमारी

इसी वर्ष फरवरी में हुए दिल्ली हिंसा के आरोपी ताहिर हुसैन के ठिकानों पर मंगलवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने छापेमारी की. ईडी ने मार्च में ‘आप’ के निलंबित पार्षद ताहिर हुसैन के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज किया था. उस पर दंगों में बड़े पैमाने पर फंडिंग का आरोप लगाया गया है. एचटी की खबर के मुताबिक, दिल्ली और नोएडा के कई ठिकानों पर ईडी ने छापेमारी की. रिपोर्ट के मुताबिक, दिल्ली पुलिस ने अपनी जांच में पाया था कि सवा करोड़ से ज्यादा रुपये ताहिर हुसैन ने दिल्ली हिंसा के लिए इस्तेमाल किए हैं. अपनी कंपनी से पैसे निकालकर फर्जी कंपनियों में ट्रासंफर कर पैसे निकाले गए और दिल्ली हिंसा में इस्तेमाल किए गए.

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