Delhi LG Anil Baijal Resigns: दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल ने दिया इस्तीफा, बतायी ये वजह
दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने कहा है कि व्यक्तिगत कारणों से इस्तीफा दे रहे हैं. न्यूज एजेंसी एएनआई ने सूत्रों के हवाले से यह खबर दी है. एएनआई के ट्वीट में कहा गया है कि अनिल बैजल ने अपना इस्तीफा राष्ट्रपति को भेज दिया है.
नयी दिल्ली: दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल (Anil Baijal Resigns) ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने कहा है कि व्यक्तिगत कारणों से इस्तीफा दे रहे हैं. न्यूज एजेंसी एएनआई ने सूत्रों के हवाले से यह खबर दी है. एएनआई के ट्वीट में कहा गया है कि अनिल बैजल ने अपना इस्तीफा राष्ट्रपति को भेज दिया है.
5 साल 4 महीने रहे उपराज्यपाल
अनिल बैजल (Delhi LG Anil Baijal) करीब 5 साल 4 महीने दिल्ली के उपराज्यपाल रहे. अचानक इस तरह से दिये गये इस्तीफा के बाद राजनीतिक गलियारों में चर्चा का बाजार गर्म है. बता दें कि आमतौर पर किसी भी राज्यपाल का कार्यकाल 5 साल का होता है. लेकिन, दिल्ली के उपराज्यपाल का कार्यकाल तय नहीं होता. उन्हें 31 दिसंबर 2016 को नजीब जंग की जगह दिल्ली का उपराज्यपाल नियुक्त किया गया था.
Delhi LG Anil Baijal resigns citing personal reasons. He has sent his resignation to the President: Sources
(file pic) pic.twitter.com/lmVxTdv8ZD
— ANI (@ANI) May 18, 2022
उपराज्यपाल से केजरीवाल सरकार की खींचतान
अनिल बैजल के उपराज्यपाल बनने के बाद से ही अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) की आम आदमी पार्टी (Aam Aadmi Party) की सरकार के साथ खींचतान शुरू हो गयी थी. अभी भी कई मामलों में केजरीवाल सरकार के साथ उपराज्यपाल के टकराव की बातें सामने आती रहती हैं. उपराज्यपाल और दिल्ली सरकार के अधिकार क्षेत्र को लेकर केजरीवाल की सरकार कई बार कोर्ट का दरवाजा खटखटा चुकी है.
कई बार कोर्ट पहुंची केजरीवाल की सरकार
कई बार तो अपने अधिकार क्षेत्र को लेकर आम आदमी पार्टी की सरकार ने कोर्ट का दरवाजा भी खटखटाया था. इस साल भी कोरोना की चौथी लहर के दौरान ऑड-ईवन नियम पर दिल्ली सरकार और एलजी में एकराय नहीं बनी थी. इस दौरान एलजी अनिल बैजल ने केजरीवाल सरकार के प्रस्ताव को मानने से इनकार कर दिया था.
उल्लेखनीय है कि एक साल पहले अनिल बैजल ने दिल्ली सरकार की 1000 बसों की खरीद प्रक्रिया की जांच के लिए तीन सदस्यों की कमेटी बनायी थी. इस पर बवाल मच गया. भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने इस मामले की सीबीआई जांच की मांग कर दी थी.