18.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

Eid-al-Fitr पर किमामी सेवइयां घोलेगी खुशियों में मिठास, कोई किर्गिस्तान, तो कोई कतर से पटना पहुंचा ईद मनाने

रमजान मुबारक के रोजों के बाद वह घड़ी आ ही गयी जिसका मुसलमानों को बेसब्री से इंतजार था. मुस्लिम समाज के लोग ईद-उल-फितर की तैयारियों में मशगूल रहे. बाजार में कुर्ते-पायजामा, सेवइयां और ड्राइ-फ्रूट्स की लोगों ने जमकर खरीदारी की. वहीं नूर, अजीज, ख्याल, दुबई गोल्ड, आइसबर्ग, मुश्क अंबर, मैगनेट, कस्तूरी जैसे इत्र की बाजार में अच्छी खासी डिमांड रही. सेवइयों की दुकानों पर भी खूब खरीदारी हुई. महिलाएं नये सूट्स, चूड़ियां, ज्वेलरी, मेकअप और घर सजाने का सामान खरीदने में मशगूल रहीं.

  • Eid-al-Fitr आज, लोगों ने दी एक दूसरे को मुबारकबाद, दावत का दिया निमंत्रण
  • ईद को लेकर सजी दुकानें, खरीदारों की रौनक से देर रात तक बाजार रहा गुलजार
  • बांग्लादेश और मलेशिया की टोपी, सूरत के सूट, मजमुआ व फिरदौस इत्र की रही मांग
  • बाजार में लच्छा सेवई और इत्र की खुशबू खरीदारों को खींचता रहा अपनी ओर

Eid-al-Fitr: मीठी ईद को लेकर बुधवार को राजधानी पटना के बाजार में काफी रौनक दिखी. लोग ईद के लिए कपड़े, इत्र, टोपी, ड्राइ फ्रूट्स, जूते- चप्पल खरीदते नजर आये. सेवियों की दुकानों पर खूब खरीदारी हुई. नये-नये परिधानों के साथ ही रंग-बिरंगी टोपी की दुकानों से पूरा बाजार सजा नजर आया. पटना में बांग्लादेश और मलेशिया की टोपी मंगायी गयी है, तो इत्र भी विदेशों से पहुंचा है.

खासकर खेतान मार्केट, हथुआ मार्केट, पटना मार्केट, ठाकुरबाड़ी रोड, कदमकुआं, बोरिंग रोड, अनिसाबाद, फुलवारीशरीफ आदि इलाके में इस मुबारक दिन की तैयारी के लिए लोग कपड़ों के साथ-साथ साज-सज्जा के सामान भी खूब खरीदे. विशेषकर सब्जीबाग, खेतान मार्केट, फुलवारी शरीफ, अनिसाबाद, सुल्तानगंज, आलमगंज, दरगाह रोड आदि मुस्लिम इलाके में लोग देर रात खरीदारी करते देखे गये. इर्द को लेकर डिजाइनर कुर्ता-पायजामा और लहंगा-सूट लोगों की खास पसंद बने. इस मौके पर कई दुकानों में डिस्काउंट भी दिये गये.  

कुर्ता-पायजामा, लुंगी और टोपी की खूब हुई बिक्री

पिछले कुछ सालों से त्योहारों में भी नये ट्रेंड को अपनाने का चलन बढ़ा है. ईद मुबारक के दिन लोग नये परिधान पहनते हैं. ऐसे में बाजार में पुरुष वस्त्रों में कुर्ता-पायजामा, लुंगी और टोपी की बिक्री अच्छी खासी हुई. बच्चों से लेकर बड़े तक ईद के दिन पहनने के लिए चिकन कुर्ते की खरीदारी की. मार्केट में रंग-बिरंगे चिकन के कुर्ते उतारे गये हैं. शर्ट टाइप के कुर्ते भी चलन में हैं.

महिलाएं और युवतियां भी परिधानों की खरीदारी में जुटी रहीं. कुर्ती-लेगिंग सूट, अनारकली सूट, पटियाला व अन्य वैरायटी मार्केट में छायी रही. रेडीमेड परिधानों की खरीद पर 20-25 फीसदी तक छूट दी गयी. वहीं, शॉपिंग मॉल में कपड़ों की खरीद पर लोगों ने ऑफर्स के लाभ उठाये.

अरब देशों के इत्र की रही अच्छी खासी डिमांड  

भले ही बाजार में ब्रांडेड परफ्यूम मौजूद हों, लेकिन रोजेदारों की पहली पसंद देसी इत्र रही. लाजवाब महक की तरह इनकी कीमत भी निराली है. लगभग 10 मिलीग्राम इत्र 150 रुपये से लेकर 2000 तक में उपलब्ध है. अरब देशों से भी मंगाये गये इत्र की भी खूब डिमांड रही. नूर, अजीज, ख्याल, दुबई गोल्ड, आइसबर्ग, मुश्क अंबर, मैगनेट, कस्तूरी जैसे इत्र लोगों ने खूब खरीदे.

कारीगरी वाली टोपियां खूब किये गये पसंद

ईद के लेकर मार्केंट में टोपियों की कई किस्में उपलब्ध रहीं. इनमें रंग-बिरंगी टोपियों पर सतरंगी धागों से कढ़ाई, मोतियों की कारीगरी, रेशम धागे से बनी टोपी, चांद सितारे वाली टोपी खूब पसंद किये गये. जनरल टोपी 20-30 रुपये, पाकिस्तानी टोपी 50-100 रुपये, नाइजीरिया की टोपी 50-100 रुपये, इंडोनेशिया की टोपी 50-100 रुपये, बंगाली टोपी 60 से 80 रुपये में बिकी.

बनारसी, हैदराबादी सेवइयों से सजा बाजार

ईद-उल-फितर का चांद दिखते ही रोजेदारों के चेहरे पर खुशी की लहर दौड़ गयी. देर शाम से राजधानी के मुस्लिम बहुल इलाके में लोगों ने ईद की जमकर खरीदारी की. खरीदारी का सिलसिला देर रात तक चला. बाजार में सबसे अधिक सेवइयों व बिस्कुट की मांग रही. मार्केट में लोगों ने लच्छा सेवई, किमामी सेवई, बिस्कुट आदि की जमकर खरीदारी की. लच्छा सेवई की कई किस्में बाजार में उपलब्ध रहा. 250 रुपये प्रति किलो से लेकर आठ सौ रुपये प्रति किलो तक लच्छा सेवई की बिक्री हुई. वहीं किमामी सेवई तीन सौ रुपये प्रति किलो बिकी. बनारसी, कलकतिया, पटनिया, इलाहाबादी, हैदराबादी सेवई विभिन्न रंगों में रहे.

कोई किर्गिस्तान, तो कोई कतर से पटना पहुंचा ईद मनाने

ईद मनाने के लिए राजधानी के कई लोग, जो पटना से बाहर दूसरे मुल्कों में रहते हैं, वे अपने घर पहुंच चुके हैं. ईद को लेकर हर घर में खुशियां छायी है. लोगों की माने तो शहर के कई मुस्लिम परिवारों में से एक या दो सदस्य सऊदी, कतर, किर्गिस्तान व अरब देशों में रह कर रोटी रोजी कमाता है या पढ़ाई करता है. ऐसे में यहां रहने वाले लोग मुकद्दस रमजान के मौके पर साल में एक बार ईद मनाने अपने घर आते हैं.

घर के लोगों के साथ मनाउंगा ईद की खुशियां

दीघा के रहने वाले डॉ रियाज किर्गिस्तान से पटना आये हैं. वे वहां रहकर एमबीबीएस की पढ़ाई करते हैं. वे कहते हैं, मैं हर साल रमजान के महीने में अपने घर आता हूं. बिना अम्मी-अब्बू के रमजान के महीने में रोजा रखने के बारे में सोच भी नहीं सकता. हर शुक्रवार अपने वालिद साहब के साथ मस्जिद में नमाज अदा करने जाता हूं. नये कपड़े की खरीदारी करना एक दूसरे को मुबारकबाद देना अच्छा लगता है.  

परिवार और सगे-संबंधियों को दूंगा मुबारकबाद

राजा बाजार के रहने वाले अरशद अलिम कतर से हाल ही में पटना पहुंचे हैं. वे कतर में शिपिंग कंपनी में नौकरी करते हैं. पिछले रमजान में उनके न आने से इस बार उत्सुकता अधिक है. वे कहते हैं, ईद हो या बकरीद, दोनों ही त्योहार वहां भी मनाया जाता है. लेकिन, इंडिया में परिवार और सगे-संबंधियों को मुबारकबाद देना, रोजा रखना व नमाज अदा करना अनूठा है. भतीजा इमरोज पहले ही दिल्ली से आ चुका है.

Also read : ईद-उल-फितर आज, ईदगाह में 9:00 बजे पढ़़ी जायेगी नमाज

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें