शाइस्ता की हुई थी हत्या देवर और सास गिरफ्तार
पोस्टमारटम रिपोर्ट में फांसी लगाने की पुष्टि नहीं रांची : डोरंडा रहमत कॉलोनी में विवाहिता शाइस्ता हशमत (24 वर्ष) ने आत्महत्या नहीं की थी, बल्कि उसकी हत्या की गयी थी. दहेज के लिए हत्या के आरोप में पुलिस ने देवर अंदलीब अहमद और 59 वर्षीय सास शहनाज परवीन उर्फ साहीना को रविवार को गिरफ्तार कर […]

पोस्टमारटम रिपोर्ट में फांसी लगाने की पुष्टि नहीं
रांची : डोरंडा रहमत कॉलोनी में विवाहिता शाइस्ता हशमत (24 वर्ष) ने आत्महत्या नहीं की थी, बल्कि उसकी हत्या की गयी थी. दहेज के लिए हत्या के आरोप में पुलिस ने देवर अंदलीब अहमद और 59 वर्षीय सास शहनाज परवीन उर्फ साहीना को रविवार को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. महिला की हत्या में दोनों की संलिप्तता के संबंध में पुलिस को साक्ष्य भी मिले हैं.
पुलिस के अनुसार महिला शाइस्ता हशमत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में डॉक्टरों ने यह स्पष्ट नहीं लिखा कि उसकी मौत फंदे पर लटकने से हुई है. पोस्टमार्टम रिपोर्ट में मृत्यु से पहले शरीर में जख्म होने की बात सामने आयी है. इसके अलावा महिला अगर खुद से फंदा लगा कर आत्महत्या की होती, तब उसके गले में आगे निशान होता, लेकिन उसके गले के पीछे में निशान था.
पोस्टमार्टम रिपोर्ट में मृत्यु से पहले जख्म होने से स्पष्ट है कि महिला के साथ मारपीट हुई थी, जिस वजह से उसकी मौत हो गयी. इस केस में प्रथम दृष्टया देवर और सास को महिला की मौत के लिए जिम्मेवार पाते हुए उन्हें गिरफ्तार किया गया है.
महिला का शव गत 12 जुलाई को कमरे में संदिग्ध अवस्था में मिला था. ससुराल वालों ने महिला द्वारा आत्महत्या किये जाने की जानकारी पुलिस को दी थी. सूचना मिलने पर महिला के पिता हशमत अली भी परिवार के अन्य सदस्यों के साथ मुंगरे से रांची पहुंचे थे. उन्होंने मामले में दहेज के लिए ससुराल वालों पर हत्या का आरोप लगाते हुए मामले में डोरंडा थाने में प्राथमिकी दर्ज करायी थी.
प्राथमिकी दर्ज कराने के बाद जब वह अपनी पुत्री के ससुराल गये, तब दोनों पक्ष के बीच विवाद और हो हल्ला होने लगा. इसी बीच हर्ट टैक से महिला के पिता की मौत हो गयी थी.
13 जुलाई को पिता हशमत अली ने अपनी पुत्री शाइस्ता हशमत की दहेज के लिए हत्या को लेकर डोरंडा थाने में प्राथमिकी दर्ज करायी थी. प्राथमिकी में उल्लेख है कि शाइस्ता हशमत की शादी 27 दिसंबर, 2015 को रहमत कॉलोनी निवासी आफताब अहमद से हुई थी. शादी के दौरान पिता ने अपनी पुत्री और दामाद को उपहार में नकद और जेवरात सहित अन्य सामान दिये थे. इसके बाद जब वह अपने मायके गयी, तब उसे ससुराल वाले प्रताड़ित करने लगे. ससुराल वाले शाइस्ता हशमत से रांची में फ्लैट खरीदने के लिए 32 लाख रुपये दहेज के रूप में लाने के लिए कहने लगे.
शादी के 15 दिन बाद शाइस्ता हशमत का पति कमाने के लिए दुबई चला गया. उसने अपने पति के जाने से पहले खुद को मायके मुंगेर पहुंचाने का अनुरोध किया था, लेकिन उसे मुंगेर नहीं पहुंचाया गया. आफताब अहमद के दुबई जाने के बाद ससुराल वाले शाइस्ता हशमत को और अधिक प्रताड़ित करने लगे. उसके सारे गहने ससुराल वालों ने अपने पास रख लियेे. घटना के दो दिन पूर्व भी ससुराल वालों द्वारा प्रताड़ित किये जाने की जानकारी शाइस्ता हशमत ने अपने पिता को फोन पर दी थी.