युवक की अस्पताल में मौत पर परिजनों-चिकित्सकों में मारपीट
डूबने पर युवक की हालत देख उसके साथी अस्पताल में भर्ती कराकर हुए फरार परिजनों ने भर्ती करानेवालों का नाम पूछा, तो अस्पताल प्रबंधन नहीं दे पाया जवाब, होने लगी बहस परिजन को चिकित्सक ने मारा थप्पड़, तो परिजन व ग्रामीण चिकित्सकों से भिड़े रांची/पिस्कानगड़ी :नगड़ी निवासी संजय पांडे के पुत्र आशुतोष पांडे उर्फ बंटी […]
- डूबने पर युवक की हालत देख उसके साथी अस्पताल में भर्ती कराकर हुए फरार
- परिजनों ने भर्ती करानेवालों का नाम पूछा, तो अस्पताल प्रबंधन नहीं दे पाया जवाब, होने लगी बहस
- परिजन को चिकित्सक ने मारा थप्पड़, तो परिजन व ग्रामीण चिकित्सकों से भिड़े
रांची/पिस्कानगड़ी :नगड़ी निवासी संजय पांडे के पुत्र आशुतोष पांडे उर्फ बंटी अपने साथियों के साथ गुरुवार को पतरातू डैम घूमने गया था. इसी क्रम में नहाने के दौरान वह डैम में डूब गया. तुरंत ही उसके साथियों ने उसे पानी से निकाला और उसे लेकर नगड़ी की ओर रवाना हो गये. इस क्रम में आशुतोष को उसके साथी कटहल मोड़ स्थित रिंची ट्रस्ट अस्पताल ले गये. वहां अस्पताल में आशुतोष को भर्ती करा कर उसके साथी फरार हो गये. इस बीच आशुतोष के परिजनों को जानकारी मिली कि उसे रिंची अस्पताल लाया गया है. घर के सभी लोग तत्काल रिंची अस्पताल पहुंचे.
वहां कुछ देर बाद जांच के पश्चात चिकित्सकों ने आशुतोष को मृत घोषित कर दिया. परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन से जानना चाहा कि आशुतोष को कौन लोग यहां लेकर आये थे. लेकिन अस्पताल प्रबंधन ये नहीं बता पाया कि उसे कौन लेकर यहां आया. इसी बात को लेकर दोनों पक्षों के बीच तू तू-मैं मैं होने लगी. बात बढ़ने पर आशुतोष के परिजन रोने-चिल्लाने लगे.
रोने-चिल्लाने पर प्रबंधन के लोगों ने की परिजनों से धक्का-मुक्की
परिजनों के रोने-चिल्लाने पर अस्पताल प्रबंधन के लोगों ने धक्का-मुक्की कर आशुतोष के परिजनों को बाहर निकालने की कोशिश की. ऐसा करने पर आशुतोष के परिजन और उनके शुभचिंतक आक्रोशित हो गये. स्थिति को देखते हुए रिंची ट्रस्ट प्रबंधन ने अस्पताल का गेट बंद करवा दिया.
उसके बाद अस्पताल के डॉ ओपी मानसरिया बाहर निकले और मृतक के अभिभावक को बुलाकर उन्हें थप्पड़ रसीद कर दी. यह देख वहां मौजूद आशुतोष के परिजन व ग्रामीण डॉ मानसरिया पर टूट पड़े. सूत्रों के अनुसार परिजनों ने डॉ मानसरिया के साथ मारपीट की. इस बीच जानकारी मिलने पर नगड़ी पुलिस रिंची अस्पताल पहुंची और मामले को शांत कराया. पुलिस ने परिजनों को समझा कर रात करीब सवा आठ बजे शव को पोस्टमार्टम के लिए रिम्स भेजा.
व्यावसायिक संघ ने अस्पताल प्रबंधन की निंदा की
इधर, घटना की जानकारी मिलने पर नगड़ी में शोक का माहौल है. लोगों ने रिंची ट्रस्ट अस्पताल द्वारा शोकाकुल परिवार के साथ किये गये घृणित कार्य की निंदा की है. नगड़ी व्यावसायिक संघ व चेकनाका व्यवसायिक संघ के लोगों ने कहा कि नगड़ी की वजह से ही रिंची ट्रस्ट अस्पताल अस्तित्व में है. इसके बावजूद यहां के लोगों से ही प्रबंधन के लोगों द्वारा बार-बार लड़ाई की बात सामने आती है. बार-बार रिंची अस्पताल प्रबंधन से आम लोगों का झगड़ा होना प्रबंधन की लापरवाही दर्शाता है़
युवक के मृत होने की सूचना दी, तो करने लगे मारपीट
अस्पताल में एक मृत युवा को लेकर कुछ युवक आये थे. जांच कर जब उसके मृत होने की सूचना दी गयी, तो लोग मारपीट करने लगे. मारपीट में मुझे, डॉ आनंद कुमार सिंह व दो डॉक्टर के अलावा एक नर्स को चोट लगी है. मारपीट के क्रम में शीशा तोड़ा गया, अस्पताल को नुकसान पहुंचाया गया.
डॉ ओपी मानसरिया
झारखंड में मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट लागू हो
राजधानी समेत पूरे झारखंड में आये दिन डॉक्टरों से मारपीट की खबर आती है. ऐसे में झारखंड में मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट लागू करना चाहिए़ अगर सरकार इसके बारे में नहीं सोचती है, तो राज्य के डॉक्टर सेवा ही देना बंद कर देंगे.
डॉ प्रदीप सिंह, सचिव, स्टेट आइएमए