जानें, कैसे जमीन विवाद के बाद नक्सली बना कुंदन पाहन ?
रांची: झारखंड पुलिस की नजर में हार्डकोर इनामी नक्सली कुंदन पाहन जमीन के विवाद में नक्सली संगठन में शामिल हुआ था. धीरे-धीरे वह एक के बाद एक कई बड़ी घटनाओं को अंजाम दिया. कुंदन पाहन के परिवार के पास करीब 1600 एकड़ पैतृक खूंटकटी जमीन थी. ग्राम चुप्पीडीह के रहनेवाले कुंदन पाहन के रिश्तेदार बैजनाथ […]
रांची: झारखंड पुलिस की नजर में हार्डकोर इनामी नक्सली कुंदन पाहन जमीन के विवाद में नक्सली संगठन में शामिल हुआ था. धीरे-धीरे वह एक के बाद एक कई बड़ी घटनाओं को अंजाम दिया. कुंदन पाहन के परिवार के पास करीब 1600 एकड़ पैतृक खूंटकटी जमीन थी. ग्राम चुप्पीडीह के रहनेवाले कुंदन पाहन के रिश्तेदार बैजनाथ पाहन (अब मृत) द्वारा जमीन की रशीद कटायी जाती थी.
उपरोक्त खूंटकटी जमीन में कुंदन पाहन के परिवार का हिस्सा करीब 500 एकड़ था. लेकिन कुंदन पाहन के पिता के कब्जे में मात्र 100 एकड़ जमीन थी. बैजनाथ पाहन द्वारा कुंदन पाहन के परिवार को 100 एकड़ जमीन से भी बेदखल किया जाने लगा. वर्ष 1998 में बैजनाथ पाहन और गांव के सभी लोग मिल कर जमीन विवाद में कुंदन पाहन के भाई डिंबा पाहन के साथ मारपीट की.
घटना के बाद कुंदन पाहन का परिवार भाग कर रहने के लिए बुंडू थाना क्षेत्र के बारूहातू चला आया. वहां कुंदन पाहन परिवार के सदस्यों के साथ गिरधारी सिंह मानकी के घर में रहने लगा. परिवार के सदस्य गिरधारी सिंह की जमीन में खेतीबारी कर और जानवरों को चराकर गुजारा करने लगे. वर्ष 1999 के जनवरी माह में गिरिडीह की तरफ से नक्सली संगठन एमसीसीआइ के मिथिलेश सिंह, तेजपाल महतो उर्फ डेविड, ईश्वर महतो, गिरिश महतो, रामचंद्र गंझू, मितन सहित अन्य हथियारबंद नक्सली आये और गांव में मीटिंग हुई. नक्सलियों ने कुंदन पाहन को जमीन पर कब्जा दिलाने का भरोसा दिया. इसके बाद कुंदन पाहन भी एमसीसीआइ में शामिल हो गया.
संगठन में शामिल होने के बाद कुंदन पाहन ने वर्ष 2008-09 के दौरान कई बड़ी नक्सली घटनाओं को अंजाम दिया. कुंदन पाहन की सक्रियता काे देखते हुए उसे झारखंड रिजनल कमेटी, झारखंड रिजनल मिलिट्री कमीशन एवं दक्षिणी छोटानागपुर जोनल कमेटी का सदस्य सह पोड़ाहाट सब जोन में सक्रिय प्लाटून संख्या 39 का राजनीतिक कमिश्नर बनाया गया. कुंदन पाहन के नेतृत्व में उसके दस्ता के सदस्यों ने कई घटनाओं को अंजाम दिया.
नक्सली कुंदन पाहन ने जिन बड़ी घटनाओं को दिया अंजाम
मार्च 2008 में चौका थाना क्षेत्र स्थित एक बैंक की सुरक्षा में तैनात तीन पुलिसकर्मियों से राइफल की लूट
मई 2008 में कुंदन पाहन ने जमशेदपुर-रांची मुख्य मार्ग में आइसीआइसीआइ बैंक के कैश वैन से पांच करोड़ रुपये लूटने के बाद वाहन में आग लगा दी.
मई 2008 में संगठन के निर्देश पर सिल्ली-रांची मुख्य मार्ग पर चलनेवाले एक वाहन को क्षतिग्रस्त कर दिया, इसके बाद गोली मार कर एक व्यक्ति की हत्या कर दी
मई 2008 में कुंदन पाहन ने मेढ़ा खपडकारी जंगल में बीड़ी पत्ता लदे ट्रक तथा लकड़ी लदे ट्रक में आग लगा कर उसे नष्ट कर दिया
जून 2008 में कुंदन पाहन दस्ता का मुठभेड़ जरगा-मागपुर टोला पुलिस फोर्स के साथ हुई
जून 2008 में कुंदन पाहन ने अपने ही दस्ते के सदस्य मलिया मुंडा और दो अन्य व्यक्ति की हत्या कर शव जंगल में फेंक दिया