सात साल बाद भी बोकारो में शुरू नहीं हुई नर्सिंग की पढ़ाई

रंजीत कुमार, बोकारो : बोकारो में सात साल बाद भी नर्सिंग की पढ़ाई शुरू नहीं हो पाई. सरकार को सभी दावे फेल हो गये. आज भी बोकारो में रहने वाली युवतियां नर्सिंग की पढ़ाई के लिए धनबाद व रांची के प्रशिक्षण सेंटर पर निर्भर रहती हैं. रांची स्वास्थ्य विभाग के मुख्यालय से अधिकारी बोकारो आते […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 5, 2019 9:02 AM

रंजीत कुमार, बोकारो : बोकारो में सात साल बाद भी नर्सिंग की पढ़ाई शुरू नहीं हो पाई. सरकार को सभी दावे फेल हो गये. आज भी बोकारो में रहने वाली युवतियां नर्सिंग की पढ़ाई के लिए धनबाद व रांची के प्रशिक्षण सेंटर पर निर्भर रहती हैं. रांची स्वास्थ्य विभाग के मुख्यालय से अधिकारी बोकारो आते हैं. नर्सिंग प्रशिक्षण सेंटर का निरीक्षण कर आश्वासन दे वापस लौट जाते हैं.

प्रशिक्षण सेंटर के कई कमरों में रखी गयी है साइकिल
वर्तमान समय में एएनएम ट्रेनिंग सेंटर में सहिया को स्वास्थ्य विभाग की ओर से विभिन्न योजनाओं का प्रशिक्षण दिया जाता है. यह प्रशिक्षण आवासीय होता है. यही नहीं सहिया के अलावा एएनएम व जीएनएम को भी विभिन्न योजनाओं की जानकारी प्रशिक्षण के माध्यम से दी जाती है.
भवन के कई कमरों को साइकिल का गोदाम बना दिया गया है. भवन में कई जगहों पर दरार आ गयी है. पानी की व्यवस्था तक नहीं है. बारिश होने पर कई कमरे सिपेज होता है.
वर्ष 2011 में पूर्व स्वास्थ्य मंत्री ने किया था शिलान्यास
कैंप दो में चार करोड़ की लागत से एएनएम ट्रेनिंग सेंटर भवन बनाया गया है. इसमें एएनएम के प्रशिक्षण के साथ-साथ रहने की भी व्यवस्था की गयी है. ट्रेनिंग भवन का शिलान्यास वर्ष 2011 में पूर्व स्वास्थ्य मंत्री भानू प्रताप शाही ने किया था.
निर्माण कार्य पूरा हुए लगभग सात वर्ष बीत गये है. भवन स्वास्थ्य विभाग के हवाले कर दिया गया है. ट्रेनिंग सेंटर के शुरू होने पर बोकारो की छात्राओं को प्रशिक्षण के लिए धनबाद नहीं जाना होगा. अभी प्रशिक्षण के लिए धनबाद जाना होता है.
50 नर्सों को एक सत्र में मिलना है प्रशिक्षण
भवन में एएनएम प्रशिक्षण केंद्र, 50 नर्सों के रहने के लिए 50 बेडों के कई कमरे, वार्डेन के रहने के लिए कमरा, प्रशिक्षण देने वाले टीचरों के रहने की व्यवस्था की गयी है. प्रशिक्षण केंद्र शुरू होने से पूर्व शिक्षक व एक वार्डन की नियुक्ति होनी है. सेंटर जल्द शुरू होने से बोकारो की छात्राओं को शारीरिक, मानसिक व आर्थिक तीनों फायदा पहुंचेगा.
विभाग को पत्राचार किया जा रहा है. मंतव्य मांगा गया है. विभाग से आदेश आते ही तेज गति से काम पूरा कर सेंटर शुरू किया जायेगा.
डॉ एके पाठक, सिविल सर्जन, बोकारो
कहती हैं निजी अस्पताल में कार्यरत नर्स
नर्सिंग की पढ़ाई के लिए मैं बाहर चली गयी. काफी दिनों तक इंतजार किया. ट्रेनिंग मेरे लिए जरूरी थी. परेशानी के साथ आर्थिक समस्या भी हुई. सरकार मामले में संवेदनशील नहीं है.
दीप शिखा, सेक्टर नौ
पिछले कई वर्षों से मैं बोकारो में एएनएम ट्रेनिंग सेंटर खुलने का इंतजार कर रही हूं. सरकार इस पर ध्यान दे, तो कई युवतियों को बाहर जाने से रोका जा सकता है. आर्थिक परेशानी होती है.
ताहिरा, सेक्टर चार

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