बीएसएल : पदनाम जूनियर इंजीनियरिंग एसोसिएट नहीं, जूनियर इंजीनियर ही चाहिए
– सड़क पर उतरे बीएसएल के डिप्लोमा इंजीनियर्स सुनील तिवारी, बोकारो ‘पदनाम’ जूनियर इंजीनियरिंग एसोसिएट नहीं जूनियर इंजीनियर (जेई) चाहिए. इस डिमांड के साथ बोकारो स्टील प्लांट के डिप्लोमा इंजीनियर्स (डीई) शुक्रवार को सड़क पर उतरे. विरोध-प्रदर्शन किया. पदनाम सब कमेटी का पुतला फूंका. बोकारो इस्पात डिप्लोमाधारी यूनियन के बैनर तले विरोध-प्रदर्शन का कार्यक्रम गांधी […]
– सड़क पर उतरे बीएसएल के डिप्लोमा इंजीनियर्स
सुनील तिवारी, बोकारो
‘पदनाम’ जूनियर इंजीनियरिंग एसोसिएट नहीं जूनियर इंजीनियर (जेई) चाहिए. इस डिमांड के साथ बोकारो स्टील प्लांट के डिप्लोमा इंजीनियर्स (डीई) शुक्रवार को सड़क पर उतरे. विरोध-प्रदर्शन किया. पदनाम सब कमेटी का पुतला फूंका. बोकारो इस्पात डिप्लोमाधारी यूनियन के बैनर तले विरोध-प्रदर्शन का कार्यक्रम गांधी चौक-04 पर हुआ. यूनियन ने कहा : जूनियर इंजीनियर पदनाम ही चाहिए. इंजीनियरिंग एसोसिएट से किसी कीमत पर समझौता नहीं होगा.
15 फरवरी 2020 को सेल कॉरपोरेट ऑफिस में पदनाम सब कमेटी की बैठक में प्रस्तावित पदनाम (क्लस्टर ए-टेक्निकल एसोसिएट, क्लस्टर बी-जूनियर इंजीनियरिंग एसोसिएट, क्लस्टर सी-इंजीनियरिंग एसोसिएट, क्लस्टर डी-सीनियर इंजीनियरिंग एसोसिएट) से डिप्लोमा इंजीनियर्स नाराज चल रहे हैं. इसके विरोध में शुक्रवार को बीएसएल सहित सेल के सभी इकाइयों में एक साथ विरोध-प्रदर्शन किया गया. बोकारो में सैकड़ों डीई विरोध-प्रदर्शन में शामिल हुए.
इस्पात मंत्रालय के आदेश की अनदेखी की गयी
यूनियन के अध्यक्ष संदीप कुमार ने कहा : सब कमेटी की बैठक में इस्पात मंत्रालय के आदेश की अनदेखी की गयी है. आदेश में डिप्लोमा इंजीनियर्स को जूनियर इंजीनियर पदनाम के साथ भेल व बीएसएनएल की तरह प्रमोशन पॉलिसी बनाने को कहा गया है, जिसका थोड़ा भी ध्यान नहीं रखा गया. प्रस्तावित पदनाम अचंभित करने वाला है. ‘जेई’ पदनाम नहीं मिलने पर मार्च में बीएसएल सहित सभी यूनिट के डीई सामूहिक अवकाश पर जायेंगे.
प्रस्तावित पदनाम में संशोधन के लिए ज्ञापन
श्री कुमार ने कहा, जिस पदनाम पर एनजेसीएस व प्रबंधन के बीच सहमति बनी है, वह इंजीनियरिंग एसोसिएट नॉन-डिप्लोमा कर्मचारियों के लिए अच्छा हो सकता है, लेकिन डिप्लोमा इंजीनियर्स के लिए ओसीटी पदनाम से भी खराब है. आईआर विभाग को निदेशक (कार्मिक) के नाम पर ज्ञापन दिया गया है, जिसमें प्रस्तावित पदनाम में संशोधन करके इस्पात मंत्रालय के गाइड लाइन के अनुसार डीई को जूनियर इंजीनियर पदनाम देने को लिखा गया है.
नाराजगी से संयंत्र पर प्रतिकूल असर पड़ेगा
यूनियन के महामंत्री एम तिवारी ने कहा, सेल प्रबंधन पदनाम अविष्कारक बन गया है. पहले ओसीटी, एटीटी और अब प्रस्तावित पदनाम ऐसा है जो किसी अन्य संस्थान में ढूंढने से भी नहीं मिलेगा. डीई की नाराजगी से संयंत्र पर प्रतिकूल असर पड़ेगा. शशि कुमार सूरज कंसारी, सोनू शाह, दीपक शुक्ला, रत्नेश मिश्रा, पप्पू यादव, अविनाश चंद्र, अरुण कुमार, जय किशोर, शिव पंडित, रितेश कुमार, आनंद कुमार, ज्योतिष कुमार, नितेश कुमार, सिद्धार्थ सेन, संजीत कुमार, शिव नाथ, दीपक महतो सहित सैकड़ों सदस्य उपस्थित थे.