छापेमारी कर 10 बाल मजदूर मुक्त कराये

बोकारो: एसपी ए विजयालक्ष्मी के निर्देश पर मंगलवार को विभिन्न थाना क्षेत्र में ऑपरेशन मुस्कान के तहत होटल, ढाबा, रेस्तरां, साइकिल दुकान आदि जगहों पर पुलिस ने छापेमारी कर 10 बाल श्रमिक को मुक्त कराया गया. अभियान में बोकारो पुलिस व श्रम विभाग के अधिकारी शामिल थे. बच्चों को बाल कल्याण समिति के अध्यक्ष सह […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 8, 2015 8:50 AM
बोकारो: एसपी ए विजयालक्ष्मी के निर्देश पर मंगलवार को विभिन्न थाना क्षेत्र में ऑपरेशन मुस्कान के तहत होटल, ढाबा, रेस्तरां, साइकिल दुकान आदि जगहों पर पुलिस ने छापेमारी कर 10 बाल श्रमिक को मुक्त कराया गया. अभियान में बोकारो पुलिस व श्रम विभाग के अधिकारी शामिल थे. बच्चों को बाल कल्याण समिति के अध्यक्ष सह अधिवक्ता जनार्दन प्रसाद चौधरी के हवाले कर दिया गया है. समिति सभी बच्चों को उनके अभिभावकों का पता लगा कर सौंप देगी. बच्चों को सौंपने के पूर्व अभिभावकों से यह शपथ पत्र लिया जायेगा कि दोबारा उनसे बाल मजदूरी नहीं करवायी जायेगी. अभिभावक को यह शपथ पत्र भी देना पड़ेगा कि वह अपने बच्चों का नामांकन स्कूल में करायेंगे.
दोबारा पकड़े जाने पर अभिभावकों पर भी होगी कार्रवाई : जिन अभिभावकों के बच्चे दोबारा बाल मजदूरी करते पकड़े जायेंगे, उनके खिलाफ बाल श्रम कानून के तहत कार्रवाई की जायेगी. इधर, लक्ष्मी मार्केट के एक होटल व्यवसायी ने अपने यहां पकड़े गये बाल मजदूर को मैट्रिक तक पढ़ाने का लिखित वादा किया. इसके बाद बच्चों को होटल व्यवसायी के हवाले कर दिया गया.
आठ बच्चे सौंपे गये एनजीओ को : बाल कल्याण समिति आठ बच्चों को फिलहाल बारी को-ऑपरेटिव कॉलोनी, प्लॉट संख्या 416 स्थित महिला शिशु जन कल्याण समिति नामक एनजीओ के हवाले कर रही है.

श्रम विभाग की निगरानी में चले इस अभियान में पुलिस ने सेक्टर चार थाना क्षेत्र के लक्ष्मी मार्केट स्थित एक होटल व बीजीएच के पास होटल से तीन बच्चों को मुक्त कराया. बीटीपीएस थाना क्षेत्र में भी तीन बच्चों को मुक्त कराया गया. दुगदा थाना क्षेत्र से एक साइकिल दुकान, ढाबा, गैरेज से चार बाल मजदूरों को मुक्त कराया गया. जिला बाल कल्याण समिति के अध्यक्ष सह अधिवक्ता जनार्दन प्रसाद चौधरी ने बताया कि 15 वर्ष से कम उम्र के बच्चे से किसी भी तरह का मजदूरी कराना गैर कानूनी है. 15 वर्ष से ऊपर के नाबालिग बालक पढ़ाई-लिखाई करते हुए पार्ट टाइम काम कर सकते हैं. इसके लिये बालक का नियमित रूप से स्कूल जाने का प्रमाण दिखाना अनिवार्य है.

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