अभिभावकों ने दी कॅरियर चुनने की आजादी

वूमेन इंपावरमेंट. उज्ज्वल भविष्य को लेकर बोकारो की लड़कियों के हौसले बुलंद बोकारो : बच्चों को करियर चुनाव करना हो या 11 वीं में नामांकन लेना. लगभग सभी जगहों पर अभिभावकों का दवाब अधिक होता है. ऐसे में न केवल बच्चों पर इसका प्रतिकूल असर पड़ता है, बल्कि आगे भविष्य को लेकर भी सफलता पर […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 24, 2017 6:08 AM

वूमेन इंपावरमेंट. उज्ज्वल भविष्य को लेकर बोकारो की लड़कियों के हौसले बुलंद

बोकारो : बच्चों को करियर चुनाव करना हो या 11 वीं में नामांकन लेना. लगभग सभी जगहों पर अभिभावकों का दवाब अधिक होता है. ऐसे में न केवल बच्चों पर इसका प्रतिकूल असर पड़ता है, बल्कि आगे भविष्य को लेकर भी सफलता पर ग्रहण लग जाता है. अभिभावकों के दवाब में (इच्छा के विपरित विषय) नामांकन लेने वाले विद्यार्थी खुद को सफल नहीं मानते हैं. साथ ही पढ़ाई में परेशानी महसूस करते हैं. करियर को लेकर भी सशंकित रहते हैं. पर बोकारो बदल रहा है.
बोकारो के अभिभावक अपनी पुत्र के साथ-साथ पुत्रियों को भी पढ़ाई के मामले में स्वतंत्र छोड़ रहे हैं. साथ ही करियर चुनने की भी आजादी दे रखी है. मंगलवार को ‘प्रभात खबर’ ने ऐसे ही कुछ युवतियों से बातचीत की. सौम्या सिन्हा, अर्चना कुमारी, बीना कुमारी, गौरी कुमारी, तान्या सिन्हा, अन्नू सिंह ने अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त की. बताया कि अभिभावकों ने कभी नहीं रोका. खुद की इच्छा से विषय का चुनाव किया. आगे बढ़ रही हूं. करियर चुनने की आजादी भी मिली है. ऐसे में हम खुल कर पढ़ाई के साथ- जॉब का भी आनंद ले रहे हैं.

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