बोकारो, बोकारो जनरल अस्पताल (बीजीएच) के ठेका मजदूर दिलीप लकड़ा की मौत के बाद उसके आश्रित को नियोजन व मुआवजा की मांग को लेकर सोमवार की सुबह ए शिफ्ट में बीजीएच में कार्यरत ठेका मजदूर हड़ताल पर चले गये. इसके बाद बी शिफ्ट के सफाई कर्मी भी शामिल हो गये. इससे बीजीएच की सफाई व्यवस्था पूरी तरह चरमरा गयी. बता दें कि छह सितंबर की रात 11:30 बजे बीजीएच के नेफ्रोलॉजी विभाग में कार्यरत कैटेगरी ए के ठेका मजदूर दिलीप की मौत हो गयी थी. सात सितंबर को सुबह से आश्रितों के साथ ठेका मजदूरों ने स्थाई नियोजन व मुआवजे की मांग को लेकर धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया. बोकारो स्टील प्रबंधन शनिवार को कोई फैसला नहीं कर सकी. प्रबंधन ने एक दिन का समय मांगा. सोमवार की सुबह तक फैसला नहीं होने के कारण बीजीएच के ठेका मजदूर हड़ताल पर चले गये. समाचार लिखे जाने तक मुख्य कार्मिक प्रबंधक के साथ दूसरे दौर की बैठक चल रही थी.
4:30 घंटे के बाद इलाज शुरू करना दुर्भाग्यपूर्ण : रामाश्रय
बोकारो इस्पात कामगार यूनियन (एटक) के महामंत्री रामाश्रय प्रसाद सिंह ने कहा कि 30 सालों से नेफ्रोलॉजी विभाग में सफाई कर रहे दिलीप का ड्यूटी स्थल पर कार्य के दौरान ए शिफ्ट में चक्कर आकर गिरना और 4:30 घंटे के बाद इलाज शुरू करना दुर्भाग्यपूर्ण है. नियोजन हर हाल में मिलना चाहिये. श्री सिंह ने कहा कि ऐसी अवस्था में ठेका मजदूर की मौत कार्य के दौरान हुई है तो क्या आश्रित को मुआवजा व स्थाई नियोजन नहीं मिलना चाहिए.
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