सुनील तिवारी, बोकारो, सावधान ! कहीं भी ‘प्रतिबंधित स्थान’ पर धरना-प्रदर्शन सहित किसी भी प्रकार का आंदोलन करने पर सख्त कार्रवाई होगी. बोकारो स्टील प्लांट प्रबंधन एक्शन मोड में है. इसकी शुरुआत हो चुकी है. 28 सितंबर को प्रशासनिक भवन के समीप मशाल लेकर प्रदर्शन करने वाले लगभग 50 बीएसएल कर्मियों को प्रबंधन ने 10 अक्तूबर को शो कॉज किया है. अब प्लांट के अंदर गोलंबर चौक सहित अन्य स्थानों व विभिन्न विभागों पर धरना-प्रदर्शन-सभा करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की तैयारी भी चल रही है. यहां उल्लेखनीय है कि राज्य सरकार की ओर से बोकारो स्टील प्लांट के अंदर व बाहर कई स्थानों पर प्रतिबंधित स्थान घोषित किया गया है. मतलब, प्रतिबंधित स्थान की घोषणा सरकार ने की है, न कि बोकारो स्टील प्रबंधन ने. बीएसएल प्रबंधन सरकार के आदेश का अनुपालन कर रहा है. प्रबंधन की ओर से इससे संबंधित बोर्ड भी उक्त स्थल पर लगाया गया है. इसके बावजूद यहां धरना-प्रदर्शन-सभा हो रहा है. अब कार्रवाई होगी. प्रतिबंधित स्थान प्रतिबंधित क्षेत्र है. निर्धारित प्रतिबंधित क्षेत्र में प्रदर्शन संगठित करना, प्रदर्शन करना या उसमें उपस्थित होना या भाग लेना गंभीर कदाचार है. कारखाने पर लागू किसी कानून या आचार नियमों का उल्लंघन भी गंभीर कदाचार है. कंपनी के स्थायी आदेश के अनुसार, कर्मी से अपेक्षा की जाती है कि कंपनी के हित के विरुद्ध काम नहीं करेंगे. उपरोक्त कार्य कंपनी के स्थायी आदेश के प्रावधानों के तहत एक गंभीर कदाचार है, जिसके लिए कर्मी कोर अनुशासनिक कार्यवाही के भागी होंगे.
बोकारो अनाधिसाशी कर्मचारी संघ ने 28 सितंबर को निकाला था मशाल जुलूस
28 सितंबर को बोकारो अनाधिसाशी कर्मचारी संघ की ओर से प्रोडक्ट रिलेटेड पे लागू करने की मांग को लेकर बीएसएल प्रशासनिक भवन के समक्ष शाम में मशाल जुलूस निकाला गया था. शो कॉज कर्मियों में 44 प्लांट (संकार्य) व 06 गैर संकार्य विभागों के कर्मी हैं. प्रशासनिक भवन के बाहर प्रतिबंधित क्षेत्र घोषित है.
प्लांट के अंदर गोलचक्कर पर विरोध-प्रदर्शन करने वालों पर भी होगी कार्रवाईबोकारो स्टील प्रबंधन प्लांट के अंदर गोलचक्कर चौक पर विरोध-प्रदर्शन करने वालों के खिलाफ भी कार्रवाई की तैयारी चल रही है. कुछ दिनों पहले इंटक, एटक, सीटू, एचएमएस व बीएमएस के आह्वान पर ट्रेड यूनियन संयुक्त मोर्चा की ओर से प्लांट के अंदर गोलचक्कर चौक पर बोनस, एरियर सहित अन्य मांग को लेकर विरोध-प्रदर्शन किया गया था.प्लांट में हर जगह चिपका चेतावनी नोटिस, नहीं मानने वाले कर्मी रडार पर
बोकारो इस्पात संयंत्र प्रबंधन प्लांट के अंदर की संवेदनशील खबरों-घटनाओं की सूचना-फोटो बाहर सार्वजनिक होने से आहत है. यह प्रबंधन के लिए परेशानी खड़ी कर रहा है. इससे निबटने के लिए भी बीएसएल प्रबंधन सख्त हो चुका है. प्रबंधन ऐसा करने वाले कर्मियों को चिन्हित कर रहा है. प्लांट से सूचना लीक को खत्म करने के लिए अलग स्ट्रेटेजी पर काम हो रहा है. इनफार्मेशन लीक रोकने के लिए प्लांट के अंदर नोटिस चिपकाये गये हैं. प्लांट के अंदर नोटिस चिपका कर कर्मियों को जागरूक किया गया गया है कि वह कंपनी की खबर बाहर न पहुंचाये. यह अपराध है. पकड़े जाने पर प्रबंधन सख्त कार्रवाई करेगी. राजकीय गोपनीय अधिनियम 1923 की धारा 2, उप धारा (8) के अनुसार, बोकारो इस्पात संयंत्र निषिद्ध क्षेत्र घोषित किया गया है. इस निषिद्ध क्षेत्र में किसी प्रकार की क्षति पहुंचाना या संयंत्र/कंपनी संबंधित किसी प्रकार की सूचना बाहरी एजेंसियों को उपलब्ध कराना राजकीय गोपनीय अधिनियम 1923 के तहत दंडनीय अपराध है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है