BOKARO NEWS: सत्यनाम सुमर प्यारे वक्त जा रहा है….

सेक्टर नौ स्थित शिवपुरी कॉलोनी बस्ती में संत लोकवासी महंत शिवधारी साहेब की पुण्यतिथि मनायी गयी.

By Prabhat Khabar News Desk | October 17, 2024 11:34 PM

बोकारो, कबीर पंथ धर्मदास वंशावली दामाखेड़ा छत्तीसगढ़ के तत्वावधान में गुरुवार को सेक्टर नौ स्थित शिवपुरी कॉलोनी बस्ती में संत लोकवासी महंत शिवधारी साहेब की 25वीं पुण्यतिथि मनायी गयी. जमशेदपुर से पहुंचे महंत प्रकाश साहेब ने कहा कि यह दिन विशेष है. कबीर पंथ के इतिहास में महंत शिवधारी साहेब को विशेष रूप से याद किया जाता है. महंत शिवधारी साहेब ने हमेशा लोगों को सद्गुरु कबीर साहेब के उपदेशों को अपने जीवन में उतारने के लिए प्रेरित किया. प्रकाश साहेब ने कहा कि आज के युग में जीव जगत अपने रास्ते से भटका हुआ है. ऐसे में सत्य के मार्ग पर चलने के लिए मनुष्य को सदमार्ग पर चलना होगा. तभी जीवन सफल होगा. उन्होंने दोहे के माध्यम से कहा कि सत्यनाम सुमर प्यारे वक्त जा रहा है… हे मानव इस धरती में तुम बहुत कम समय के लिए ही आए हो इसलिए हमें अपने सद्गुरु कबीर साहेब के कहे वचनों का दृढ़तापूर्वक पालन करना होगा. तब जाकर हम इस भव सागर से पार जा सकते हैं. कहा कि सद्गुरु के कृपा बिना इस भव सागर का दुख दूर नहीं हो सकता है. सद्गुरु की कृपा सिर्फ उन पर ही होती है, जो उनके बताये मार्ग पर दृढ़ता पूर्वक चलते हैं. कबीर पंथ तलवार की धार जैसे है उस पर चलना इतना सरल नहीं है. अगर हमें दुर्लभ मानव तन प्राप्त हुआ है, तो इसे व्यर्थ न करे, सिर्फ नाम दान लेने व कंठी धारण करने से भव से पार जाना संभव नहीं है.

कबीरपंथ कोई धर्म या जाति नहीं : महंत भीम

महंत भीम साहेब ने कहा कि कबीर पंथ कोई धर्म या जाति नहीं, बल्कि सतगुरु कबीर साहब द्वारा दिखाया हुआ एक मार्ग है. इस मार्ग पर चलकर हर धर्म, जाति और मजहब का व्यक्ति अपने जीवन को सफल बना सकता है. उन्होंने ईश्वर को मन के अंदर खोजने के लिए प्रेरित किया. वहीं महंत सुमेर साहेब व दीवान धर्मदास साहेब ने लोगों को कबीर साहेब के जीवन दर्शन से प्रेरणा लेकर अपना जीवन सफल करने की अपील की.

मोको कहां ढूंढे रे बंदे मैं तो तेरे पास में…

इसके पहले महंत व श्रद्धालुओं ने महंत शिव धारी साहेब की समाधि स्थल पर चादर पोशी व कबीर पंथ की पवित्र श्वेत पताका फहराकर समारोह की शुरुआत की. इसके बाद आरती व भजनों की प्रस्तुति ने माहौल को भक्तिमय बना दिया. सद्गुरु कबीर साहेब का दोहा मोको कहां ढूंढे रे बंदे मैं तो तेरे पास में, सत्यनाम सत्यनाम सत्यनाम बोल आदि भजन कीर्तन हुआ. सभी श्रद्धालुओं ने साहेब बंदगी साहेब का जयकारा लगाया. अंत में श्रद्धालुओं के बीच प्रसाद का वितरण किया गया.

ये थे शामिल

समारोह में अवधेश दास, ललन शर्मा, सुरेश दास, सत्यदेव कुमार सुमन, कैलाश, सुरेश, नरेश शर्मा, कहन्या, श्यामदेव भगत, पंकज प्रजापति, इंद्रजीत कुमार, अरुण कुमार, विवेक कुमार, गीता देवी, सुनीता देवी, धर्मशीला कुमारी, पूजा, लक्ष्मी, किरण, प्रियंका, खुशबू कुमारी, ललिता देवी, गुड्डू, बेबी शर्मा, विश्वकर्मा शर्मा, अभय, वरुण सहित कोलकाता, पटना, धनबाद व अन्य स्थानों से काफी संख्या में कबीर पंथ की महिला- पुरुष व बच्चे शामिल थे.

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