Coronavirus In Jharkhand, रांची न्यूज (राणा प्रताप) : झारखंड हाईकोर्ट ने कोरोना संक्रमित शव के अंतिम संस्कार उनके धर्म व रीति-रिवाज के अनुसार करने व परिजनों को उसमें शामिल करने को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की. चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन व जस्टिस सुजीत नारायण प्रसाद की खंडपीठ ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से मामले की सुनवाई करते हुए राज्य सरकार को गाइडलाइन का अक्षरश: अनुपालन करने का निर्देश दिया. खंडपीठ ने मौखिक रूप से कहा कि जब सरकार की गाइडलाइन में ही शव को परिजनों को सौंपने की बात कही गई है, तो उसका पालन क्यों नहीं हो रहा है.
खंडपीठ ने कहा कि राज्य सरकार की गाइडलाइन में ही संक्रमित शव परिजनों को सौंपने की बात कही गई है. इसलिए उस गाइडलाइन का अनुपालन करना सुनिश्चित किया जाये. खंडपीठ ने मौखिक रूप से कहा कि जब सरकार की गाइडलाइन में ही शव को परिजनों को सौंपने की बात कही गई है, तो उसका पालन क्यों नहीं हो रहा है. जिला प्रशासन को शव क्यों सौंप दिया जा रहा है. उक्त आदेश देते हुए खंडपीठ ने याचिका को निष्पादित कर दिया. इससे पूर्व प्रार्थी की ओर से अधिवक्ता अपराजिता भारद्वाज ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से पक्ष रखते हुए शवों को परिजनों को सौंपने के लिए आदेश देने का आग्रह किया.
राज्य सरकार की ओर से खंडपीठ को बताया गया कि स्वास्थ्य विभाग की ओर से चार अगस्त 2020 को राज्य के सभी उपायुक्तों को पत्र लिखकर कोरोना संक्रमित शवों के निष्पादन का निर्देश दिया गया था. इसमें कहा गया है कि कोविड-19 पॉजिटिव व्यक्तियों के शव को तत्काल निर्धारित प्रोटोकॉल का पालन करते हुए उनके रिश्तेदारों को सौंप दिया जाये. उल्लेखनीय है कि प्रार्थी सितवंतो देवी महिला कल्याण संस्थान जमशेदपुर की ओर से सचिव मदन मोहन सिंह ने जनहित याचिका दायर की थी. उन्होंने कोरोनावायरस (कोविड-19) संक्रमित शव को परिजनों को सौंपने की मांग की थी.
Posted By : Guru Swarup Mishra