बोकारो : ना सूर्य का तेज, ना दिन, ना दोपहर व ना शाम का पता चला. आसमान में छाए बादल और कोहरा के बीच बोकारो वासियों का दिन बीता. बुधवार देर रात हुई बारिश का असर गुरुवार को देखा गया. शीतलहर और ठंड का आलम यह कि पूरे दिन लोग सिकुड़े अवस्था में ही देखे गये. जैकेट, स्वेटर, मफलर व टोपी पूरे दिन शरीर पर ही चढ़ा रहा. शीतलहर के कारण जनजीवन प्रभावित देखा गया. ठंड का प्रकोप ऐसा कि लोग बमुश्किल ही घर से बाहर निकले. सड़क पर इक्का-दुक्का वाहन ही नजर आ रहे थे. जहां-तहां अलाव का सहारा लेकर मौसम का सामना करते लोग देखे गए. इस दौरान भी चर्चा सिर्फ मौसम की ही होती रही.
मौसम ने एकदम से ली करवट : आम तौर पर बोकारो में मकर संक्रांति तक आसमां में बादल छाये रहते थे, इसके बाद मौसम साफ होने लगता था. तापमान में इजाफा होने लगता था, लेकिन, इस साल की स्थिति अलग है. संक्रांति के बाद मौसम ने एकदम से करवट ले लिया है. बारिश हुई और तापमान में गिरावट देखी गयी. मंद गति से चलने वाली हवा के कारण घर के अंदर रहने पर भी लोग ठिठुरने को विवश हुए. गुरुवार को न्यूनतम तापमान 14 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, लेकिन अहसास आठ डिग्री का रहा.
बोकारो में ठंड का प्रकोप अभी कुछ दिन और रहने वाला है. जानकारों की माने तो इस सप्ताह में तापमान में अभी गिरावट का दौर चलेगा. न्यूनतम तापमान सात डिग्री सेल्सियस तक जा सकती है, जबकि फिलिंग चार डिग्री सेल्सियस की होगी. मतलब, शीतलहर का दौर रहेगा. अगले सप्ताह बादल छंटने के बाद तापमान में गिरावट होगी. मतलब, पूरे जनवरी तक मौसम ठंड वाली ही रहेगी.
कई अभिभावकों ने बच्चों को नहीं भेजा स्कूल : ठंड चरम पर है, लेकिन स्कूल खुले हैं. ऐसे में बच्चे मौसम का सितम झेलने को विवश हो रहे हैं. एहतियातन कई अभिभावकों ने बच्चों को स्कूल नहीं भेजा. खास कर प्राइमरी सेक्शन के बच्चों की उपस्थिति स्कूलों में कम देखी गयी. जो बच्चे स्कूल गये, उन्हें विशेष तैयारी के साथ भेजा गया. कई अभिभावक मौसम को देखते हुए छुट्टी या स्कूल के समय सारिणी में बदलाव की बात करते भी दिखे.
बाजार हुआ प्रभावित : मौसम की मार बाजार पर भी देखने को मिला. ज्यादातर व्यापार केंद्र में ग्राहकों की कमी देखी गयी. ना सिर्फ ग्राहक, बल्कि दुकान स्टाफ ने भी मौसम के कारण बाजार से छुट्टी मारी. जानकारों की माने तो मौसम के कारण आम दिनों के मुकाबले बाजार का फ्लो 20-25 प्रतिशत कम हुआ. बाजार के हर सेक्टर में इसका असर देखने को मिला. हालांकि, यह अस्थायी स्थिति है.
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