झारखंड के बासुरी वादक चेतन जोशी को मिला संगीत नाटक अकादमी अवार्ड-2019, जानें उनके सफर के बारे में

बोकारो में 25 साल सेवा दे चुके बांसुरी वादक पंडित चेतन जोशी को संगीत नाट्य अकादमी अवार्ड-2019 के लिए चुना गया है. पंडित जोशी भारतीय शास्त्रीय संगीत के जाने-माने बांसुरी वादकों में गिने जाते हैं. बोकारो उनकी कर्मभूमि रही है. इसलिये उनकी इस उपलब्धि पर स्टील सिटी बोकारो गौरवान्वित है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 30, 2022 8:04 AM
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Bokaro News: इस्पात नगरी बोकारो में 25 साल सेवा दे चुके बांसुरी वादक पंडित चेतन जोशी को संगीत नाट्य अकादमी अवार्ड-2019 (Sangeet Natak Akademi Award-2019) के लिए चुना गया है. संगीत जगत में उनके योगदान को देखते हुए अवार्ड के लिए उनका चुनाव हुआ है. पंडित जोशी भारतीय शास्त्रीय संगीत के जाने-माने बांसुरी वादकों में गिने जाते हैं. बोकारो उनकी कर्मभूमि रही है. इसलिये उनकी इस उपलब्धि पर स्टील सिटी बोकारो गौरवान्वित है.

बांसुरी वादक में करियर की शुरुआत 1987 में बोकारो से हुई

बांसुरी वादक के रूप में पंडित चेतन जोशी की करियर की शुरुआत 1987 में सेक्टर 5 के गुरु गोविंद सिंह विद्यालय में बतौर संगीत शिक्षक हुई. 1988 में वहां से दिल्ली पब्लिक स्कूल में संगीत शिक्षण कार्य के लिए आये और जनवरी 2012 तक वह विभिन्न पदों पर कार्यरत रहे. उसके बाद 2012 से ही ग्रेटर नोएडा में रहकर पंडित जोशी भारतीय शास्त्रीय संगीत तथा बांसुरी प्रचार-प्रसार में संलग्न है.

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चास के रामरूद्र उच्च विद्यालय में दसवीं कक्षा तक की पढ़ाई

चास के रामरूद्र उच्च विद्यालय में दसवीं कक्षा तक पढ़ाई की. इंटरमीडिएट की पढ़ाई चास कॉलेज से ही पूरी की. कुछ समय प्रयागराज में पढ़ने के बाद सिटी कॉलेज से ग्रेजुएट हुए. पढ़ाई के बाद उन्होंने संगीत जगत में कदम रखा. देखते ही देखते शास्त्रीय संगीत का जाना-माना नाम बन गये. झारखंड सरकार की ओर से राज्य का सर्वोच्च कला सम्मान राजकीय सांस्कृतिक सम्मान-2006 भी उनको मिल चुका है.

एक ही बांसुरी में साढ़े तीन सप्तक बजाने की पद्धति

पंडित जोशी ने बांसुरी बजाने की अद्वितीय शैली को विकसित किया और यही उनकी पहचान बनी. उनके द्वारा विकसित की गयी एक ही बांसुरी में साढ़े तीन सप्तक बजाने की पद्धति का उल्लेख तो अब तक कई शोध पत्रों में प्रकाशित हुआ है. उन्हें सुरमनी बिस्मिल्लाह सम्मान, सरस्वती सम्मान, महाराज स्वाति थिरुनाल अवार्ड, स्वर समाज सेवा अवार्ड, कला रत्न सम्मान, संगीत गौरव अवार्ड, संगीत भारती अवार्ड, तेजस्वी सम्मान मिला है.

रिपोर्ट : सुनील तिवारी, बोकारो

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