झारखंड: धनबाद से लोकसभा का चुनाव लड़ने पर क्या बोले झारखंड के पूर्व मंत्री ददई दुबे?
श्री दुबे ने कहा कोल कर्मियों के वेतन समझौता-11 से हम संतुष्ट नहीं हैं. अभी तक कोयला मंत्रालय तथा सरकार से इस पर स्वीकृति भी नहीं दी गयी है. हमारे नेतृत्व में चलने वाले इंटक व आरसीएमएस की सबसे ज्यादा सदस्यता है. मैं इंटक से संबद्ध राष्ट्रीय खान मजदूर फेडरेशन का अध्यक्ष हूं.
बेरमो(बोकारो): झारखंड के पूर्व मंत्री व इंटक (दुबे गुट) के अध्यक्ष चंद्रशेखर दुबे उर्फ ददई दुबे ने कहा कि कुछ लोगों ने कोर्ट को गुमराह कर सही चीज की जगह गलत चीज को रखा और जेबीसीसीआइ में प्रवेश कर गये. धोखा दो-चार दिन किसी को दे सकते हैं. हमेशा नहीं चलता है. एक माह के अंदर सारा सच सामने आयेगा. श्री दुबे ने यह बातें यूनियन नेता छविनाथ सिंह के आवास में रविवार को आयोजित प्रेस वार्ता में कही. उन्होंने कहा कि दो साल पहले मेरा बेटा चल बसा. दो माह पहले पतोहू चल बसी. शोक में कई दिनों तक घर में रह गया. इसी बीच कुछ लोगों ने कोर्ट को गुमराह कर फैसला अपने पक्ष में करा लिया. सुप्रीम कोर्ट 12 जून से खुल रहा है. हमलोग सुप्रीम कोर्ट में कोर्ट ऑफ कंटेंप्ट फाइल करेंगे. पेपर और सारा रिकार्ड कोर्ट में रखा जायेगा. लोकसभा चुनाव लड़ने के सवाल पर कहा कि पार्टी जहां से टिकट देगी चुनाव लडूंगा, लेकिन धनबाद मेरे लिए सबसे उपयुक्त है.
कोल कर्मियों के वेतन समझौता-11 से संतुष्ट नहीं
श्री दुबे ने कहा कोल कर्मियों के वेतन समझौता-11 से हम संतुष्ट नहीं हैं. अभी तक कोयला मंत्रालय तथा सरकार से इस पर स्वीकृति भी नहीं दी गयी है. हमारे नेतृत्व में चलने वाले इंटक व आरसीएमएस की सबसे ज्यादा सदस्यता है. मैं इंटक से संबद्ध राष्ट्रीय खान मजदूर फेडरेशन का अध्यक्ष हूं. जेबीसीसीआइ का नेगोसिएशन कभी भी फेडरेशन से नहीं हुआ है, बल्कि हर वेतन समझौता का एग्रीमेंट इंटक के बैनर तले होता रहा है. इंटक नेता जी संजीवा रेड्डी अस्वस्थ हैं. चल-फिर नहीं सकते है. इंटक में चल रहे विवाद को सलटाने के लिए सोनिया गांधी के निर्देश पर पांच सदस्यीय टीम का गठन किया गया, जिसके संयोजक तारीक अनवर हैं. लेकिन अभी तक तारीक अनवर या किसी अन्य सदस्य ने मुझसे संपर्क नहीं किया. ऐसे भी कमेटी के लोग मुझे बुला भी नहीं सकते. मुझे सिर्फ सोनिया गांधी और राहुल गांधी ही बुला सकते हैं.
धनबाद लोकसभा सीट सबसे उपयुक्त
श्री दुबे ने कहा कि आरसीएमएस पूरे देश में एक है, जो मेरे नेतृत्व में चल रहा है. यह कोयला मजदूर भी भली-भांति जानते हैं. कुछ लोगों ने आरसीएमएस से निकल कर अपनी अलग यूनियन बनायी है. अगला लोकसभा चुनाव लड़ने के सवाल पर कहा कि पार्टी जहां से टिकट देगी चुनाव लडूंगा, लेकिन धनबाद मेरे लिए सबसे उपयुक्त है. टिकट मिला तो यह सीट कांग्रेस की झोली में डालेंगे. झारखंड सरकार का कामकाज ठीक नहीं चल रहा है. कांग्रेस के चारों मंत्री का कांग्रेस से कोई मतलब नहीं है. मौके पर आरसीएमएस नेता वरुण सिंह, अनुराग सिंह, मंगरा उरांव आदि उपस्थित थे.