बोकारो के सेक्टर 12 ई में पानी टंकी सहित सीढ़ी का ढांचा रविवार की अहले सुबह लगभग चार बजे अचानक भरभरा कर गिर गया. गनीमत यह रही कि इसमें जान-माल की कोई क्षति नहीं हुई. घटना सेक्टर 12 ई क्वार्टर संख्या 1019 से 1024 तक वाले ब्लॉक में घटी. इससे ब्लॉक के चार क्वार्टरों में लोग फंस गये. फायर ब्रिगेड की टीम ने रेस्क्यू कर फंसे लोगाें को नीचे उतारा. रेस्क्यू किये गये लोगों को बीएसएल ने नया आवास अलॉट किया. बोकारो विधायक बिरंची नारायण ने क्षतिग्रस्त ब्लॉक का जायजा लिया. सेक्टरों के सभी जर्जर ब्लॉक के मरम्मत की मांग की. उधर, बीएसएल के ईडी-पर्सनल एंड एडमिनिस्ट्रेशन राजन प्रसाद भी क्षतिग्रस्त ब्लॉक को देखने पहुंचे और संबंधित अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिया.
हादसे में किसी को चोट नहीं आयी, फंसे 21 लोगों को किया गया रेस्क्यू
रविवार को शहर के सेक्टर 12 ई स्थित एक ब्लॉक में फिर सीढ़ी गिरने का हादसा हुआ. जोरदार आवाज के साथ पूरा का पूरा सीढ़ी का ढांचा पानी की टंकी सहित ढह गया. हालांकि, इस हादसे में किसी को चोट नहीं आयी. लेकिन, ऊपर के चार क्वार्टरों में लोग फंस गये. फंसे लोगों को फायर ब्रिगेड की टीम ने रेस्क्यू कर नीचे उतारा. कुल 21 लोगो को रेस्क्यू किया गया. इनमें सेक्टर 12 ई क्वार्टर संख्या 1021 से 1024 तक में रहने वाले परिवार शामिल है. सूचना मिलने के बाद बीएसएल फायर ब्रिगेड की टीम मौके पर पहुंची. सीढ़ी के माध्यम से लोगो को ऊपर के तल्ले से नीचे उतारा. ब्लॉक के छह: क्वार्टरों में एक बीएसएल कर्मी है, बाकि पांच नॉन-बीएसएल है. घटना के बाद जर्जर ब्लॉकों में रहनेवाले सेक्टर 12 के अन्य लोग दहशत में है.
क्वार्टर का दरवाजा खोला तो देखा- सीढ़ी का ढांचा ढह गया
ब्लॉक में रहने वाले प्रमोद कुमार ने बताया : शनिवार की रात लगभग 11 बजे पहले सीढ़ी का छज्जा गिरा. वह काफी जर्जर था. रात का समय था, इसलिए सोने चले गये. सुबह-सुबह लगभग सवा चार बजे के आस-पास जब वह लोग सो रहे थे, तो अचानक बाहर जोरदार आवाज हुई. पूरा क्वार्टर हिल गया, जैसे भूकंप आया हो. अपने आपको संभालते हुए जब दरवाजा खोलकर बाहर देखा, तो पाया की सीढ़ी का पूरा ढांचा ढह गया है. स्थिति यह थी कि घर के मुख्य दरवाजे के बाहर नीचे का फ्लोर गायब हो चुका था. अपने घरों में फंसे लोगों ने बालकनी और खिड़की से मदद के लिए आवाज लगायी. इसके बाद लोग जुटे और बीएसएल प्रबंधन के संबंधित अधिकारियों को सूचना दी. लगभग पांच बजे फायर ब्रिगेड पहुंची और रेस्क्यू किया.
मरम्मत की मांग को लेकर ब्लॉक के लोगों ने बीएसएल मेन्टेन्स में किया था कम्प्लेन
ब्लॉक के लोगों ने जर्जर हुई सीढ़ी की मरम्मत की मांग को लेकर बीएसएल मेंटेनेंस में कम्प्लेन किया था. लेकिन, कोई सुनवाई नहीं हुई. लोगों ने बताया : कुछ हफ्तों से हो रही बरसात ने सीढ़ी की स्तिथि और दयनीय हो गयी थी, इसी कारण हादसा हुआ. उधर, सीढ़ी गिरने की घटना के तीन घंटे के अंदर बोकारो इस्पात संयंत्र प्रबंधन ने रेस्क्यू किये गये लोगों को नया आवास अलॉट कर दिया. इतना ही नहीं, बीएसएल ने मकान शिफ्टिंग के लिए गाड़ी व आदमी भी दिया, ताकि किसी को कोई समस्या न हो. यहां उल्लेखनीय है कि यह पहली बार हुआ है, जब बीएसएल प्रबंधन ने इस तरह की घटना में पीड़ितो को इतनी जल्दी राहत पहुंचने का काम किया है. इसके लिये ब्लॉक में रहने वाले लोग बीएसएल प्रबंधन को धन्यवाद दे रहे हैं.
फर्स्ट और सेकंड फ्लोर में रहने वाले चारों परिवारों को एलॉट हुआ नया आवास
यहां उल्लेखनीय है कि रविवार छुट्टी होने के बावजूद ईडी पर्सनल एंड एडमिनिस्ट्रेशन राजन प्रसाद, टाउन एंड एडमिनिस्ट्रेशन (टीए) विभाग के सीजीएम कुंदन कुमार व हाउस अलॉटमेंट सेक्शन के जीएम अलोक चावला अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे और स्तिथि का जायजा लिया. फिर बिना देर किये जीएम अलोक चावला ने सेक्टर 12 इलाके में खाली आवासों की जानकारी रिकॉर्ड से ली. टीम भेज कर उन आवासों के हालत को जाना और फिर चार सबसे बेहतरीन आवास अलॉट कर दिये. मतलब, जिस ब्लॉक में यह घटना हुई है, उसमें फर्स्ट और सेकंड फ्लोर में रहने वाले चारों परिवारों को आवास दे दिया गया. सबको आवास उसी इलाके में अलॉट किया गया है. बीएसएल ने आवास हैंडओवर व शिफ्टिंग में मदद की.
बीएसएल की टीम ने आकर न सिर्फ हिम्मत दी, बल्कि नया आवास भी दे दिया
चार परिवारों में एक बीएसएल कर्मी का है और बाकी तीनो को आवास लाइसेंस में अलॉटेड है. ग्राउंड फ्लोर में रहने वाले दोनों परिवारों को भी नया आवास दिया गया, पर उनलोगों ने लेने से मना कर दिया. वह वही रहेंगे. परिवार के साथ रेस्क्यू हुए पवन कुमार ने बताया : घटना के तुरंत बाद वह हताश व निराश हो गये थे. कुछ समझ नहीं आ रहा था की ऐसी स्तिथि में परिवार और सामान को लेकर कहां जाये. लेकिन, घंटे भर में निराशा आशा में बदल गयी. बीएसएल की टीम ने आकर न सिर्फ हिम्मत दी, बल्कि बिना किसी दौड़-भाग के हमलोगो को नया आवास दे दिया. हमलोगो को सही में विश्वास नहीं हुआ, क्योंकि पहले ऐसा कभी नहीं सुने थे. सबसे बड़ी बात नया आवास अगल-बगल ही मिला है. बीएसएल ने शिफ्टिंग करायी.
टाउनशिप में अनफिट आवासों और ब्लॉक का लिस्ट बनाने का दिया आदेश
रविवार की सुबह सेक्टर 12 ई के ब्लॉक में सीढ़ी गिरने की घटना की जानकारी मिलते ही बीएसएल नगर प्रशासन की टीम तुरंत मौके पर पहुंची. सीआईएसएफ फायर ब्रिगेड के दल के साथ मिलकर ऊपर के मंजिलों में रह रहे लोगों को सुरक्षित तरीके से बाहर निकाला. बीएसएल की टीम के एक सदस्य ने बताया : घटना के बाद रविवार को हाउस अलॉटमेंट सेक्शन सुबह सात बजे हीं खुल गया. विभाग के लोगों को बुलाया गया. जीएम चावला पहले प्लांट में थे, इसलिए इस विभाग में भी दिन-रात का अंतर नहीं समझे. दो घंटा में सभी रेस्क्यू किये गये परिवारों को बढ़िया आवास ढूंढ़कर अलॉट करके हैंडओवर कर दिया गया. इसके साथ हीं, टाउनशिप में अनफिट आवासों और ब्लॉक का लिस्ट बनाने का आदेश भी दिया गया है.
बीएसएल प्रबंधन का पक्ष : आवासों के व्यापक जीर्णोद्धार के लिए बनी है योजना
बीएसएल प्रबंधन की ओर से रविवार को कहा गया कि टाउनशिप के विभिन्न सेक्टरों में कई आवासीय बिल्डिंग ऐसे हैं, जिनमें क्रिटिकल रिपेयर की आवश्यकता है. पूर्व में किये गये सर्वे के मुताबिक इनमें से अधिकतर सेक्टर 12, सेक्टर 8 व 9 के कुछ हिस्से, सेक्टर 11 और कुछ सेक्टर 6 में है. सर्वे से यह स्पष्ट हुआ कि अधिकतर ऐसे बिल्डिंग में क्रिटिकल स्ट्रक्चरल रिपेयर की आवश्यकता है, जिसके लिए एक विशेषज्ञ एजेंसी की ज़रूरत पड़ेगी. इस पृष्ठभूमि में बीएसएल ने विगत एक वर्ष के दौरान ऐसे कई एजेंसियों से संपर्क किया और अंततः एक अहम निष्कर्ष पर पहुंची है. इस समस्या के स्थायी निराकरण के लिए इस सप्ताह बीएसएल और एनबीसीसी के बीच एमओयू पर हस्ताक्षर किया जायेगा.
जर्जर बिल्डिंगों को खाली करा कर प्रोटोकॉल के अनुसार ध्वस्त भी किया जायेगा
एनबीसीसी भारत सरकार का एक प्रतिष्ठान है और सिविल कंस्ट्रक्शन व रिपेयर के क्षेत्र में सबसे प्रतिष्ठित संस्थाओं में से एक है. इस एमओयू के पश्चात् ऐसे बिल्डिंगों का व्यापक रिपेयर व सिविल अनुरक्षण से जुड़े अन्य कार्य विशेषज्ञ एजेंसी एनबीसीसी के द्वारा किया जायेगा. सिविल अनुरक्षण की समस्याओं के निराकरण के लिए गए इस अहम् निर्णय का लाभ जल्द मिलेगा. एनबीसीसी द्वारा कार्य शुरू करने से पूर्व कई ऐसे बिल्डिंगों में से आवासधारियों को दूसरे आवासों में शिफ्ट करने की आवश्यकता होगी. इसके लिए एक कमेटी गठित की जा चुकी है. दूसरी ओर, एनबीसीसी के विशेषज्ञ जिन बिल्डिंगों को रहने के अयोग्य घोषित करेंगे, ऐसे जर्जर बिल्डिंगों को खाली करा कर प्रोटोकॉल के अनुसार ध्वस्त भी किया जाएगा.
बीएसएल के संचार प्रमुख मणिकांत धान ने कहा कि ब्लॉक में सीढ़ी गिरने की घटना की जानकारी मिलते ही बीएसएल के अधिशासी निदेशक (कार्मिक एवं प्रशासन) राजन प्रसाद, सीजीएम (नगर प्रशासन) कुंदन कुमार, सिविल एवं आवास आवंटन विभाग के वरिष्ठ अधिकारी घटनास्थल पर पहुंचे. स्वयं प्रभावित लोगों से मिलकर उनके लिए किये जा रहे राहत कार्य की मॉनिटरिंग की. प्रभावित ब्लॉक में ऊपर के मंजिल में रह रहे लोगों को तीन घंटे के अंदर सेक्टर 12 में ही उनके चॉइस के अनुसार दूसरा आवास ऑन द स्पॉट अलॉट किया गया. दूसरे आवास में उन्हें शिफ्ट करने के लिए बीएसएल ने गाड़ी व मैनपावर भी उपलब्ध कराया, ताकि शिफ्टिंग में उन्हें दिक्कत न हो.
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