Jharkhand News, रांची न्यूज (मनोज सिंह) : झारखंड में करीब 10 लाख पशुओं (गाय, भैंस, बैल) को कम मानकवाली (सबस्टैंडर्ड) वैक्सीन लगा दी गयी है. जब वैक्सीन की गुणवत्ता की जांच की गयी, तो इसके सबस्टैंडर्ड होने का पता चला. इसके बाद भारत सरकार ने तत्काल प्रभाव से इसे रोकने का आदेश दे दिया. अब राज्य के जिलों में पड़ी शेष 10 लाख वैक्सीन वापस मंगायी जा रही है, जिन्हें नष्ट किया जायेगा. नष्ट करने के लिए गाइडलाइन राज्य सरकार को भेजी गयी है.
नेफेड के माध्यम से वैक्सीन की खरीद की गयी थी. भारत सरकार ने नेफेड के माध्यम से वैक्सीन की खरीद की थी. इसकी आपूर्ति सभी जिलों में की गयी थी. झारखंड के 20 लाख पशुओं को वैक्सीन देने का लक्ष्य था. राज्य के जिलों में पड़ी शेष 10 लाख वैक्सीन जांच में खुलासे के बाद वापस मंगायी जा रही है. ये नष्ट किये जायेंगे. वैक्सीन जानवरों से खुरहा चपका बीमारी से हमेशा के लिए दूर करने के लिए थी.
जेएसआइए के सीइओ डॉ प्रवीण झा ने कहा कि गुणवत्ता को लेकर कुछ संशय होने के बाद भारत सरकार के आदेश के बाद वैक्सीनेशन रोक दिया गया है. सभी वैक्सीन को नष्ट करना है. इसके लिए सभी जिलों को कहा गया है कि अपने-अपने मुख्यालय में वैक्सीन मंगा लें. नेफेड के लोगों की उपस्थिति में इसे नष्ट किया जायेगा. राज्य सरकार अगले चरण के वैक्सीनेशन की तैयारी में लग गयी है. इस काम में लगे लोगों को जानवरों के टैगिंग का निर्देश दिया गया है. वैक्सीन मिलते ही पशुओं का वैक्सीनेशन शुरू हो जायेगा.
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Posted By : Guru Swarup Mishra