राकेश वर्मा, बेरमो : गोमिया विधानसभा क्षेत्र की राजनीति 1977 से लेकर 2014 के पूर्व तक पूर्व मंत्री माधवलाल सिंह और पुराने जनसंघी छत्रुराम महतो के इर्द-गिर्द ही घुमती रही. 1977 में गोमिया विस के अस्तित्व में आने के बाद जनता पार्टी के टिकट पर छत्रुराम महतो ने चुनाव जीता था. इसके पूर्व 1972 के विस चुनाव में वह भारतीय जनसंघ के टिकट पर चुनाव लड़ कर पहली बार विधायक बने थे. उस वक्त जरीडीह विधानसभा हुआ करता था, जिसमें गोला, पेटरवार, कसमार व जरीडीह प्रखंड का क्षेत्र आता था. वर्ष 1967 में भी छत्रुराम महतो ने निर्दलीय चुनाव लड़ा था और राजमाता शशांक मंजरी देवी से हार गये थे. इसके बाद 1969 के चुनाव में भी निर्दलीय चुनाव लड़ा और राजमाता शशांक मंजरी देवी से पुन: हार गये थे. 1980 के चुनाव में श्री महतो भाजपा के उम्मीदवार बने तथा जीत गये. इसके बाद 1995 तथा 2005 का चुनाव भी भाजपा के टिकट पर जीते. यानि छत्रुराम महतो ने तीन बार भाजपा तथा एक-एक बार जनता पार्टी व भारतीय जनसंघ के टिकट पर चुनाव जीता.
माधवलाल सिंह ने गोमिया विस से अपना पहला चुनाव 1985 में निर्दलीय लड़ा. इस चुनाव में क्षेत्र में माधो लहर थी तथा लोगों ने नोट के साथ उन्हें वोट भी दिया. कहते हैं सैकड़ों लोगों ने उन्हें नामांकन कराने के लिए नोटों की माला पहनायी थी तथा बाजे-गाजे के साथ जुलूस में शामिल हुए थे. इस चुनाव में उनका सिंबल घोड़ा था. चुनाव में उन्होंने बेरमो के कांग्रेस व इंटक नेता रामाधार सिंह को पराजित किया था. इसके बाद 1990 के चुनाव में भी निर्दलीय माधवलाल सिंह ने भाजपा के छत्रुराम महतो को 527 मतों के अंतर से पराजित किया था. 1995 में श्री सिंह राजद प्रत्याशी बने तथा भाजपा के छत्रुराम महतो से पराजित हो गये. वर्ष 2000 में पुन: वह निर्दलीय मैदान में उतरे तथा भाजपा के छत्रुराम महतो को पराजित किया. इस चुनाव में जीतने के बाद श्री सिंह एकीकृत बिहार सरकार में पर्यटन मंत्री बनाये गये. झारखंड अलग राज्य बनने के बाद यहां परिवहन मंत्री बनाये गये. 2005 का चुनाव श्री सिंह ने पुन: निर्दलीय लड़ा, लेकिन भाजपा के छत्रुराम महतो से हार गये. छत्रुराम महतो को 34669 तथा माधवलाल सिंह को 31227 मत मिले थे. इसके बाद 2009 का विस चुनाव उन्होंने कांग्रेस के टिकट पर लड़ा तथा आजसू प्रत्याशी योगेंद्र महतो को पराजित किया. माधवलाल सिंह को 31540 तथा योगेंद्र प्रसाद को 23237 मत मिला था. 2014 का चुनाव उन्होंने भाजपा के टिकट पर लड़ा, लेकिन जेएमएम के योगेंद्र महतो से पराजित हो गये. योगेंद्र महतो को 97799 और माधवलाल सिंह को 60285 मत प्राप्त हुआ था. 2018 के उप चुनाव में फिर से श्री सिंह भाजपा प्रत्याशी बनाये गये. योगेंद्र महतो की पत्नी बबिता देवी ने इस चुनाव में जीत दर्ज की. दूसरे स्थान पर आजसू प्रत्याशी डॉ लंबोदर महतो रहे. श्री सिंह तीसरे स्थान पर रहे. बबीता देवी को 60552, लंबोदर महतो को 59211 मत मिला था. वर्ष 2019 के चुनाव में माधवलाल सिंह फिर निर्दलीय मैदान में उतरे, लेकिन आजसू प्रत्याशी डॉ लंबोदर महतो से पराजित हो गये. लंबोदर महतो को 71859 तथा झामुमो की बबीता देवी को 60922 मत मिले थे. 2024 के लोकसभा चुनाव में गोमिया विस क्षेत्र से एनडीए प्रत्याशी चंद्रप्रकाश चौधरी को 66488 तथा इंडिया गठबंधन प्रत्याशी मथुरा प्रसाद महतो को 58828 मत मिला था.कई चर्चित चेहरे आये, लेकिन जीत नहीं पाये
गोमिया सीट से 1985 में कांग्रेस के रामाधार सिंह, 1990 व 1995 में इजरायल अंसारी, 1990 में जनता दल के सुनील सहाय (सुबोध कांत सहाय के भाई) तथा 2009 में निर्दलीय तिलेश्वर साहू के अलावा गोमिया के देवनारायण प्रजापति ने 2005 में बसपा से तथा 2009 में निर्दलीय चुनाव लड़ा, लेकिन सफल नहीं हो सके.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है