महुआटांड़ (रामदुलार पंडा): संतालियों की संस्कृति व परंपरा के उद्गम स्थल लुगुबुरु घांटाबाड़ी धोरोमगाढ़ में इस वर्ष भी कार्तिक पूर्णिमा पर सम्मेलन व मेला आयोजित नहीं होगा. पुनाय थान में सिर्फ समिति के द्वारा पूजा की जायेगी. बुधवार को श्यामली गेस्ट हाउस टीटीपीएस ललपनिया में बेरमो अनुमंडल प्रशासन व समिति की बैठक में एसडीओ अनंत कुमार ने कहा कि कोरोना अभी खत्म नहीं हुआ है. इसलिए पिछले साल के गाइडलाइन को ही अभी जारी रखा जायेगा.
हर वर्ष कार्तिक पूर्णिमा पर लुगुबुरु में आयोजित होने वाले दो दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय संताल सरना महाधर्म सम्मेलन में देश के कोने-कोने के अलावे पड़ोसी देशों से भी लाखों संताली श्रद्धालु अपने इस महान धर्मस्थल में मत्था टेकने पहुंचते हैं. लेकिन, कोरोना के कारण 20वें अंतर्राष्ट्रीय संताल सरना महाधर्म सम्मेलन में श्रद्धालुओं को पूजा की अनुमति नहीं दी गयी थी और प्रशासन तथा समिति द्वारा श्रद्धालुओं से नहीं आने की अपील की गयी थी.
फलस्वरूप पिछली बार यहां श्रद्धालु नहीं के बराबर पहुंचे थे. जो श्रद्धालु पहुंच गये थे, उन्हें पूजा करने के बाद तुरंत लौटना पड़ा था. बैठक में प्रशासन की ओर से समिति से कहा गया कि विभिन्न राज्यों से आने वाले श्रद्धालुओं से संपर्क कर उन्हें कोरोना के चलते यहां नहीं आने का अनुरोध करें.
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परिसर में श्रद्धालुओं के लिए कोई व्यवस्था नहीं होगी. ऐसे भी अभी राज्य में मेला आदि पर प्रतिबंध जारी है. मौके पर समिति के अध्यक्ष बबूली सोरेन, सचिव लोबिन मुर्मू, उपाध्यक्ष बाहाराम हांसदा, जयराम हांसदा, रॉयल हांसदा, कालिदास मार्डी आदि थे.
एसडीओ बेरमो अनंत कुमार, एसडीपीओ बेरमो सतीशचंद्र झा, बीडीओ गोमिया कपिल कुमार, सीओ संदीप अनुराग टोपनो व अन्य अधिकारियों ने दोरबार चट्टानी का निरीक्षण भी किया. साथ में समिति के पदाधिकारी व सदस्य सहित टीवीएनएल के एमडी अनिल कुमार शर्मा, टीटीपीएस के डीजीएम एचआर अशोक प्रसाद भी थे. एसडीओ ने समिति को कई दिशा-निर्देश दिये.
सुरक्षा के लिहाज से एसडीपीओ ने भी निरीक्षण किया. विदित हो कि समिति की ओर से मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को 21वें अंतर्राष्ट्रीय संताल सरना महाधर्म सम्मेलन में बतौर मुख्य अतिथि निमंत्रित किया गया है. समिति के मुताबिक, मुख्यमंत्री ने आने की हामी भी भरी है. इसकी सूचना से प्रशासन और रेस हो गया है.
Posted By: Mithilesh Jha