बोकारो में दो माह में सिर्फ 5 फीसदी हुई धान की खरीद, एक माह में कैसे पूरा होगा लक्ष्य

ला सहकारिता विभाग की ओर से इस साल दो लाख क्विंटल धान खरीदारी का लक्ष्य तय किया गया है. 28 दिसंबर से खरीदारी शुरू हुई. हालांकि, धान की खरीदारी 31 मार्च तक होनी है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 28, 2024 7:26 PM

बोकारो जिला में 33 हजार हेक्टेयर पर धान की खेती होती है. औद्योगिक परिवेश के आधार पर इतने बड़े पैमाने पर खेती होना छोटी बात नहीं है. बावजूद इसके किसान खेती करते हैं. सरकार की ओर से धान की खरीद की जाती है, लेकिन खरीदारी शुरू हुए लगभग दो माह पूरा होने के बाद भी देय लक्ष्य का पांच प्रतिशत ही खरीदारी हुई है. जिला को दो लाख क्विंटल धान खरीदारी का लक्ष्य मिला है, लेकिन अभी तक मात्र 8682.41 क्विंटल ही खरीदी की गयी है. 31 मार्च तक धान खरीदारी करनी है.

28 दिसंबर से शुरू हुई है खरीदारी :

जिला सहकारिता विभाग की ओर से इस साल दो लाख क्विंटल धान खरीदारी का लक्ष्य तय किया गया है. 28 दिसंबर से खरीदारी शुरू हुई. हालांकि, धान की खरीदारी 31 मार्च तक होनी है. धान खरीद में सुस्त रफ्तार का एक कारण जिला में एक भी राइस मिल का नहीं होना है. जानकारों की माने तो पैक्स से खरीदारी करने के बाद धान दूसरे जिला स्थित राइस मिल में जाता है. इसके बाद धान से चावल बनाने के बाद फूड कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया के पास चावल जाता है. विभाग की ओर से दो मिल को बोकारो के लिए टैग किया गया है.

जिला में आठ धान क्रय केंद्र :

बोकारो जिला में आठ धान क्रय केंद्र हैं. डैश बोर्ड आंकड़ा की माने तो जिला में 12014 किसानों को धान खरीद के संबंध में एसएमएस भेजा गया है. 5545 किसान रजिस्टर्ड हैं, जबकि मात्र 177 किसान ही इस दिशा में दिलचस्पी दिखाये हैं. इस बार प्रदेश सरकार से धान उत्पादक किसानों को 117 रुपये प्रति क्विंटल की दर से बोनस मिल रहा है. इस तरह किसानों को 2300 रुपये प्रति क्विंटल की दर से धान के दाम मिल रहा है.

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