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रेलवे साइडिंग बनाने को लेकर बंद की गयी सड़क, लोग परेशान

रेलवे साइडिंग बनाने को लेकर बंद की गयी सड़क, लोग परेशान

राकेश वर्मा, बेरमो : जिस मुख्य सड़क को एक साल पहले एक करोड़ रुपये से बनाया गया, उसको हमेशा के लिए बंद कर दिया गया है. इसका कारण है इस मुख्य मार्ग पर अब सीसीएल बीएंडके प्रक्षेत्र अंतर्गत कारो ओसीपी का रेलवे साइडिंग बनेगा. निर्माण कार्य भी शुरू हो गया है. लोगों का कहना है कि रेलवे साइडिंग बनना था तो सड़क का निर्माण क्यों किया गया. करगली गेट से डीवीसी बेरमो सीम भाया राम बिलास उच्च विद्यालय तक सड़क जर्जर हो गयी थी. आम लोगों के आग्रह पर फुसरो नगर परिषद ने सड़क निर्माण के लिए निविदा एक साल पहले निकाली. एनएन कंस्ट्रक्शन नामक कंपनी ने 1.36 करोड़ रुपये के इस कार्य को 1.05 करोड़ में लिया. अब अचानक कुछ दिनों पूर्व इस सड़क मार्ग को बंद कर दिया गया. इसके कारण लोगों को पांच-छह किमी घूम कर करगली वाशरी या सुभाषनगर होते हुए डीवीसी बेरमो सीम, चलकरी,रामनगर, गांधीनगर, बारीग्राम आदि आना-जाना पड़ रहा है. पहले इस मार्ग से होकर रोजाना सैकड़ों दोपहिया, चारपहिया वाहनों का आना-जाना होता था. इसी मार्ग से होकर कार्मल स्कूल करगली, भरत सिंह पब्लिक स्कूल, झब्बू सिंह महिला महाविद्यालय के अलावा अन्य कई स्कूलों के सैकड़ों छात्र-छात्राओं का भी आवागमन होता था.

साइलो लोडिंग के लिए बनाया जा रहा है नया कारो रेलवे साइडिंग

कोल इंडिया की मेगा प्रोजेक्ट में शुमार सीसीएल कारो ओसीपी से उत्पादित कोयला को साइलो लोडिंग के जरिये कोल ट्रांसपोर्टिंग की गति बढ़ाने के लिए नया कारो रेलवे साइडिंग का निर्माण किया जा रहा है. करगली वाशरी में पहले बने रेलवे साइडिंग को करगली-रामबिलास उवि के उसी मुख्य मार्ग तक रेल लाइन का विस्तार किया जायेगा. करगली वाशरी में जो पुराना साइडिंग उसके रेलवे लाइन को हटा कर थोड़ा ऊंचा करना है. साथ ही पूरे रेलवे लाइन को बेहतर तरीके से पैकिंग करना है. इसके बाद वाशरी के साइडिंग से करीब चार किमी नया वया रेल लाइन का विस्तार किया जायेगा. इसके मध्य फ्लाई ओवर भी बनेगा. साथ ही छोटे-छोटे तीन-चार पुल का निर्माण किया जायेगा. इसमें आइपीआरसीएल का अलग काम है तथा एशियन इंड वेल नामक कंपनी पूरा साइलो सिस्टम के अलावा कनेवेयर बेल्ट, ट्रक रिसिंवग सिस्टम का निर्माण करेगी. आइपीआरसीएल को नया रेलवे ट्रैक, वे ब्रीज, फ्लाई ओवर, सिगनलिंग सिस्टम आदि का निर्माण करना है. आइपीआरसीएल से ही सब लेट पर एलाइव इंफ्रास्ट्रक्चर प्रा. लि. भी यहां कई अर्थन कार्य करीब 68 करोड़ की लागत से कर रही है. पूरी योजना करीब 400 करोड़ रुपये की है. डेढ़-दो साल में इस काम को पूरा करना है. नये कारो रेलवे साइडिंग के मध्य सइलो सिस्टम का निर्माण हो जाने के बाद रेलवे ट्रैक के ऊपर मात्र 58 मिनट में रेलवे रैक का 58 बॉक्स में कोयला लोड हो जायेगा. इसके बाद यहां से साइलो लोडिंग शुरू होगा. मालूम हो कि जिस मुख्य मार्ग पर नया कारो रेलवे साइडिंग का निर्माण कार्य चल रहा है उसी से बिल्कुल ही सटा गोमो-बरकाकाना रेल खंड का मुख्य मार्ग भी तथा यहां से मुश्किल से डेढ़ किमी की दूरी पर बेरमो रेलवे स्टेशन भी है.

इसी मार्ग पर नमामी गंगे योजना के तहत चल रहा काम

इधर, राम बिलास उवि से डीवीसी बेरमो सीम तक शेष मुख्य सड़क के किनारे बहने वाले गोदोनाला पर फुसरो नगर परिषद की ओर से नमामी गंगे योजना का भी काम चल रहा है. इसके तहत गोदोनाला में करीब सात करोड़ रुपये की लागत से अन्नु प्रोजेक्ट प्रालि नामक चार एमएलडी का सिवरेज ट्रिटमेंट प्लांट का निर्माण कर रही है. यहां बहने वाले पानी को जमा कर साफ किया जायेगा और दामोदर नदी तक ले जाया जायेगा. स्थानीय लोगों के अनुसार गोदोनाला में सिवरेज ट्रिटमेंट प्लांट के निर्माण को लेकर जगह-जगह नाला को काटा जा रहा है, जिससे मुख्य सड़क के अंदर का मिट्टी धंस रही है.

रेलवे ट्रैक के बगल में 60 मीटर तक रेलवे की जमीन है. उक्त सड़क उसी जमीन पर बनी है. यहां सीसीएल के रेलवे ट्रैक का विस्तार करना था. इसके कारण फुसरो नगर परिषद को रेलवे तथा सीसीएल ने एनओसी नहीं दिया था. इसके बावजूद गलत ढंग से सड़क बना दी गयी. सड़क काटे जाने के बाद वर्तमान में वैकल्पिक मार्ग दिया गया है. यहां 700 मीटर ट्रैक विस्तार के अलावा पांच अतिरिक्त ट्रैक बिछेगा. यहां साइलो सिस्टम से रैक लोडिंग होगा.

के रामाकृष्णा, जीएम, सीसीएल बीएंडके एरियाहमलोगों ने सीसीएल से एनओसी मांगा था. लेकिन 15 दिनों तक कोई जवाब नहीं आने के बाद जिला में हुई बैठक के निर्णयानुसार स्वत: एनओसी मान लिया गया तथा सड़क का निर्माण किया गया.

राकेश सिंह, पूर्व चेयरमैन, फुसरो नगर परिषदमामला संज्ञान में नहीं है. पता कर रहे हैं.

रंजीव रंजन, प्रशासक, फुसरो नगर परिषदक्या कहते हैं स्थानीय लोगअमरेंद्र दुबे : 15 दिनों पहले करगली जाने वाला मार्ग बंद कर गया है. इससे परेशानी हो रही है. रामविलास उच्च विद्यालय तथा कार्मल स्कूल जाने वाले बच्चों को करगली वाशरी वाले रास्ते से होकर जाना पड़ रहा है, जर्जर है.

ओम प्रकाश शर्मा : बेरमो सिम, रामनगर, चलकरी, बैदकारो, गांधीनगर आदि क्षेत्रों में रहने वाले लोगों के लिए यह सड़क लाइफ लाइन थी. जनप्रतिनिधियाें को इस पर ध्यान देना चाहिए. करगली क्षेत्रीय अस्पताल, ढोरी सेंट्रल अस्पताल भी जल्द पहुंचने का यह सुगम मार्ग है. जल्द सीसीएल प्रबंधन इसकी मरम्मत कराये.

गुड्डू दुबे : सीसीएल प्रबंधन को तत्काल धंसे स्थल में मिट्टी, पत्थर व ओबी को गिरा कर आवागमन शुरू कराये. करगली वाशरी मार्ग बहुत खराब है. दुर्घटना की अशंका बनी रहती है. दो पहिया वाहन चालकों को काफी परेशानी हो रही है.

प्रह्लाद तिवारी : जन समस्याओं को लेकर सीसीएल प्रबंधन की गंभीरता नहीं दिख रही है. जनप्रतिनिधियाें को सड़क से आवागमन शुरू करने को लेकर ठोस पहल करनी चाहिए. बड़ी आबादी को परेशानी हो रही है.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

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