Jharkhand News : मां ने मोबाइल गेम खेलने से रोका तो बच्चे ने दी जान, अगर आपके बच्चे में दिखे ये लक्षण तो हो सकता है गेमिंग डिसॉर्डर का शिकार
जानकारी के अनुसार शंकर डांगुवापोसी स्कूल में मैट्रिक का छात्र था. वह अक्सर मोबाइल पर गेम खेलता था. मंगलवार की शाम में उसे उसकी मां ने मोबाइल देखने से मना किया और पढ़ाई करने के लिए कहा. इसके बाद वह मोबाइल फेंककर घर में चला गया. रात को सभी लोग खाना खाकर अपने-अपने कमरे में सोने चले गये.
Jharkhand News, Chaibasa News, Gaming disorder news article चाईबासा : मां ने मोबाइल फोन पर गेम खेलने से मना किया, तो दसवीं के छात्र ने फांसी लगाकर जान दे दी. घटना नोवामुंडी थाना क्षेत्र के डांगुवापोसी गांव स्थित मुंडासाई की है. पुलिस ने बुधवार को छात्र शंकर पूर्ति (15) के शव को पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंप दिया. छात्र की मां और परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है.
जानकारी के अनुसार शंकर डांगुवापोसी स्कूल में मैट्रिक का छात्र था. वह अक्सर मोबाइल पर गेम खेलता था. मंगलवार की शाम में उसे उसकी मां ने मोबाइल देखने से मना किया और पढ़ाई करने के लिए कहा. इसके बाद वह मोबाइल फेंककर घर में चला गया. रात को सभी लोग खाना खाकर अपने-अपने कमरे में सोने चले गये.
सुबह में फंदे से लटका पाया :
सुबह में मां खाना बनाने के लिए चावल लाने बेटे (शंकर) के कमरे में गयी और उसका दरवाजा बंद पाया. उन्होंने काफी देर तक आवाज लगायी, पर दरवाजा नहीं खुला. उन्होंने शक होने पर आसपास के लोगों के बुलाया. लोगों ने सबल से मारकर दरवाजा तोड़ दिया. अंदर घुसने पर बेटे को फांसी पर लटका पाया. घटना की जानकारी ग्रामीण मुंडा को दी गयी. सूचना पाकर पुलिस गांव में पहुंची.
फ्री फायर गेम का शौकीन था छात्र :
बताया जा रहा है कि मृतक फ्री फायर गेम का शौकीन था. पढ़ाई छोड़कर दिनभर मोबाइल पर गेम खेलता रहता था. इसे लेकर उसकी मां डांटती रहती थी. मैट्रिक की परीक्षा को देखते हुए मां पढ़ने के लिए कहती थी.
मोबाइल पर गेम की लत मानसिक बीमारी के लक्षण :
विशेषज्ञों के अनुसार गेम खेल रहे बच्चे से मोबाइल छीनने पर अगर वह गुस्सा करे या चिड़चिड़ा हो जाये, तो यह गंभीर बीमारी के लक्षण हो सकते हैं. आपका बच्चा गेमिंग डिसॉर्डर का शिकार हो सकता है. ऐसे में अभिभावकों को सतर्क होने की जरूरत है.
Posted By : Sameer Oraon