माओवादियों ने एक माह में तीन घटना को दिया अंजाम
चतरा : चतरा में एक बार फिर माओवादी सक्रिय हो गये हैं. एक माह में तीन घटनाओं को अंजाम देकर माओवादियों ने पुलिस की नींद उड़ा दी है. साथ ही जिले में अपनी गतिविधियां तेज कर दी है. माओवादियों को सक्रिय होने से क्षेत्र के लोगों में दहशत है. पुलिस द्वारा जब टीपीसी उग्रवादियों के […]
चतरा : चतरा में एक बार फिर माओवादी सक्रिय हो गये हैं. एक माह में तीन घटनाओं को अंजाम देकर माओवादियों ने पुलिस की नींद उड़ा दी है. साथ ही जिले में अपनी गतिविधियां तेज कर दी है.
माओवादियों को सक्रिय होने से क्षेत्र के लोगों में दहशत है. पुलिस द्वारा जब टीपीसी उग्रवादियों के खिलाफ कार्रवाई शुरू की, तो माओवादी सक्रिय हो गये. इस वर्ष माओवादियों ने तीन जनवरी को राजपुर थाना क्षेत्र में दो युवकों की हत्या कर अपनी उपस्थित का अहसास कराया था. दूसरी घटना एक फरवरी की रात टंडवा आम्रपाली में रेड्डी कंपनी के कैंप को विस्फोट कर उड़ा दिया. तीसरी घटना कुंदा में टीपीसी के सब जोनल कमांडर व एक अन्य ग्रामीण की हत्या कर अंजाम दिया. यह घटना टंडवा घटना के 24 घंटे के बाद दिया गया. माओवादियों ने 2008 में कुंदा में दुर्गा पूजा के दौरान टीपीसी के जोनल कमांडर निलेश को सांस्कृतिक कार्यक्रम के दौरान हत्या कर दी थी.
इसके बाद कान्हाचट्टी में दुर्गा पूजा के दौरान न्यू एसपीएम के सुप्रीमो उमेश माली समेत चार लोगों की हत्या कर दी गयी थी. इसके बाद कुंदा में सरस्वती पूजा के मौके पर हो रहे आरकेस्ट्रा के दौरान टीपीसी के सब जोनल कमांडर मुन्ना सिंह व एक अन्य को गोली मार कर हत्या कर दी.
हालांकि पुलिस भाकपा माओवादी समेत अन्य उग्रवादी संगठनों के खिलाफ लगातार छापामारी अभियान चला रही है. अभियान में कई नक्सली हथियार समेत पकड़े गये. इसके बावजूद माओवादी जिले में घटना का अंजाम देने से बाज नहीं आ रहे हैं. जिले में जब से टीपीसी, जेपीसी, न्यू एसपीएम, जेएलटी सक्रिय हुए हैं, माओवादी गतिविधियां कम हो गयी थी. 2017 में अचानक माओवादी गतिविधि तेज हो गयी.