चतरा : बारह चक्का ट्रक ने सब्जी विक्रेता युवक को चपेट में लिया, मौत, सड़क जाम
चतरा :प्रखंड मुख्यालय के खादी ग्रामोद्योग बोर्ड के समीप बने टोकर के पास रविवार की सुबह बारह चक्का ट्रक (बीआर 01जीसी 2417) ने सब्जी विक्रेता युवक को अपने चपेट में ले लिया। जिससे घटनास्थल पर ही उसकी मौत हो गयी. मृतक बानासाड़ी गांव निवासी रामदुलार साहू के पुत्र योगेंद्र कुमार साहू (20वर्ष) शामिल है. पुत्र […]
चतरा :प्रखंड मुख्यालय के खादी ग्रामोद्योग बोर्ड के समीप बने टोकर के पास रविवार की सुबह बारह चक्का ट्रक (बीआर 01जीसी 2417) ने सब्जी विक्रेता युवक को अपने चपेट में ले लिया। जिससे घटनास्थल पर ही उसकी मौत हो गयी. मृतक बानासाड़ी गांव निवासी रामदुलार साहू के पुत्र योगेंद्र कुमार साहू (20वर्ष) शामिल है. पुत्र की मौत से परिजनों का रो -रोकर बुरा हाल हो गया है.
यह घटना सुबह करीब साढ़े पांच बजे की है. घटना से आक्रोशित ग्रामीणों ने सिमरिया हज़ारीबाग़, टंडवा ,चतरा और बगरा मुख्य पथ को जाम कर दिया. जिससे वाहनों की लंबी कतार लग गयी. वही लोगो को आने जाने में भारी परेशानी हुई. परिजन और ग्रामीण मुआवजा की मांग व कोयला लदा वाहन को दूसरे मार्ग से चलने की मांग कर रहे थे.घटना की सूचना मिलने पर सीओ जयप्रकश करमाली, थाना प्रभारी के के चौधरी,इंस्पेक्टर टी बागे, जिप सदस्य जयप्रकश सिंह,एटक नेता बिनोदबिहारी पासवान,पूर्व जिप उपाध्यक्ष देवनंदन साहू समेत अन्य लोग घटनास्थल पर पहुँचे.जमाकर्ता लोगो ने सभी को खरी खोटी भी सुनाई। वही चारो सड़को पर स्थित दुकान को दुकानदारों ने बंद कर दिया.
कैसे हुई घटना
मृतक योगेंद्र कुमार साहू सिमरिया चौक से अपने घर बानासाडी जा रहा था. इस दौरान बानादाग रेलवे साइडिंग से कोयला उतार कर बारह चक्का ट्रक लौट रहा था.इस दौरान ठोकर के पास दाया साइड चढ़कर पेड़ से टकराते युवक को रौंद डाला जिससे मौके पर ही उसकी मौत हो गयी. घटना में युवक का साईकल भी छतिग्रस्त हो गया. वही वाहन पास के घर व नाली में घुस गया.बताया जाता है कि वाहन को खलासी चला रहा था. जबकि चालक सो रहा रहा था.वाहन छोड़कर भाग रहा चालक व खलासी को ग्रामीणों ने पकड़ा और पुलिस को सौप दिया.
परिजनों को रो-रोकर बुरा हाल हो गया
पुत्र की दर्दनाक घटना से माँ बसंती देवी,पिता रामदुलार साव ,भाई उमेश कुमार, भाभी,नानी और मामा का रो- रोकर बुराहाल हो गया है. सभी की जुबान पर एक ही आवाज आरही थी कि कहाँ गया मेरा बेटा भगवान मेरा बेटा को लौटा दो कह रहे थे। योगेंद्र पढ़ाई के साथ साथ अपने माता पिता और भाई के साथ मिलकर सिमरिया चौक पर और बाजारों में सब्जी बेचने का काम करता था.