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कांवरियों के रिकॉर्ड जलार्पण में सहायक बना बाह्य अरघा

देवघर : श्रावणी मेले की तीसरी सोमवारी पर बाबाधाम में भक्तों का जनसैलाब उमड़ा. मेले के 17वें दिन तीसरी सोमवारी पर सबसे अधिक भक्त बाबानगरी पहुंचे. उन्हें संभालने में प्रशासनिक पदाधिकारियों के पसीने छूट गये. कांवरियों के सैलाब के आगे सुरक्षा में तैनात किये गये 10 हजार से ज्यादा जवान, एक हजार से ज्यादा दंडाधिकारी, […]

देवघर : श्रावणी मेले की तीसरी सोमवारी पर बाबाधाम में भक्तों का जनसैलाब उमड़ा. मेले के 17वें दिन तीसरी सोमवारी पर सबसे अधिक भक्त बाबानगरी पहुंचे. उन्हें संभालने में प्रशासनिक पदाधिकारियों के पसीने छूट गये. कांवरियों के सैलाब के आगे सुरक्षा में तैनात किये गये 10 हजार से ज्यादा जवान, एक हजार से ज्यादा दंडाधिकारी, अधिकारी, पदाधिकारी सहित तमाम प्रशासनिक इंतजाम फीका पड़ गया था. कांवरियों की कतार 15 किमी दूर कमैठा तक पहुंच गयी थी. वहीं बाबा मंदिर के आसपास की गलियों में सिर्फ गेरुआवस्त्रधारी ही दिख रहे थे. इस सोमवारी पर रिकॉर्ड जलार्पण कराने में बाह्य अरघा सबसे अधिक कारगर साबित हुआ.
पानी के फव्वारे का हुआ इस्तेमाल : प्रशासन की ओर से पहली बार बाबा मंदिर से भीड़ को नियंत्रित करने के लिए पानी के फव्वारे का इस्तेमाल किया गया. यह पट खुलने से लेकर दोपहर तीन बजे तक जारी रहा. वहीं बाह्य अरघा पर बढ़ते दबाव को देखते हुए मंदिर परिसर में भक्तों पर छड़ी भी चलायी गयी. व्यवस्था-आस्था में द्वंद्व के बीच दो लाख 90 हजार 272 कांवरियों ने कामनालिंग पर जलार्पण किया.
सरदार पंडा ने की सरकारी पूजा : इससे पहले मंदिर का पट अपने निर्धारित समय पर खुलने के साथ कांचा जल पूजा के उपरांत सरदार पंडा गुलाब नंद ओझा ने सरकारी पूजा की.
इसके बाद अहले सुबह 3:50 बजे से आम भक्तों के लिए जलार्पण प्रारंभ होते बाबा मंदिर में बोल बम का जयघोष गूंजने लगा.
आइजी सुमन गुप्ता ने भी किया जलार्पण : इस बीच संताल परगना की आइजी सुमन गुप्ता को जलार्पण कराने के लिए कांवरियों की भीड़ को कुछ देर के लिए रोक दिया गया था. डीसी व एसपी के संयुक्त ब्रीफिंग में दंडाधिकारियों, अधिकारियों व पुलिस पदाधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिया गया था कि रूट लाइन में बगैर गैप किये कांवरियों की कतार को लगातार आगे बढ़ाते रहेंगे, लेकिन ऑन ड्यूटी दंडाधिकारी, अधिकारी व पुलिस पदाधिकारियों ने बीएड कॉलेज से तिवारी चौक रूट लाइन को करीब 50 मिनट तक खाली रखा.
इस दौरान बीएड कॉलेज कैंपस का पंडाल पूरी तरह खाली रहा. वहीं रूट लाइन में रह-रह कर बिजली कटने से कांवरियों को टॉर्च व मोबाइल की रोशनी के सहारे कतार में चलना पड़ा. कांवरियों की भीड़ व व्यवस्था की मॉनिटरिंग के लिए देवघर डीसी राहुल कुमार सिन्हा व एसपी नरेंद्र कुमार सिंह रविवार रात से ही मोरचा संभाले हुए थे. संताल परगना की आइजी ने भी देर रात तक रूट लाइन का जायजा लिया.
रूट लाइन में दवाब के साथ भगदड़ की स्थिति : कांवरियों की भीड़ के कारण रूट लाइन में दबाव ज्यादा था. कांवरियों की भीड़ अधिक होने से सिंघवा मोड़, सिंघवा रेल लाइन के नीचे, ऊपर सिंघवा, चमारीडीह व कुमैठा के समीप रह-रह कर अफरातफरी की स्थिति रही. रूट लाइन में नंदन पहाड़, कुमोदिनी घोष रोड, बरमसिया मोड़, परमेश्वर दयाल रोड बजरंग बली मंदिर के समीप, जरलाही कोठी, बीएड कॉलेज के समीप, तिवारी चौक पर भीड़ अनियंत्रित हो रही थी. वहीं दुम्मा प्रवेश द्वार से कांवरियों के आने का सिलसिला पूरे दिन जारी रहा. अनुमान के मुताबिक, एक मिनट में करीब 70 से 80 कांवरिये दुम्मा प्रवेश गेट से देवघर में प्रवेश कर रहे थे.

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