देवघर : श्रावणी मेले में चार दिन शेष हैं, लेकिन अभी से गेरुआधारी कांवरियों के आने का सिलसिला शुरू हो गया है. बाबा मंदिर परिसर के साथ साथ पूरा मेला क्षेत्र श्रावणी मेले के रंग में रंगने लगा है.
गुरुवार को बाबा मंदिर परिसर गेरुआधारी कांवरियों से पटा रहा. आम श्रद्धालुओं के साथ कांवरियों की कतार फुट ओवरब्रिज तक पहुंच गयी. पट बंद होने तक 50 हजार भक्तों ने जलार्पण किया. कांवरियों की भीड़ को नियंत्रित व कतारबद्ध करने के लिए रैफ (रैपिड एक्शन फोर्स) की दो कंपनी पहुंच चुकी है. इधर, जमुई-खड़गपुर मुख्य मार्ग के गंगटा जंगल में सुरक्षा के दृष्टिकोण से मुंगेर एवं जमुई प्रशासन ने व्यापक व्यवस्था की है. सभी कांवरिया वाहनों को पुलिस सुरक्षा में जंगल पार कराया जायेगा.
पटना : श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए चप्पे-चप्पे पर तैनात रहेगी पुलिस
पटना : श्रावणी मेला में लाखों श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए 4500 से अधिक अधिक पुलिसकर्मी, डेढ़ हजार से अधिक होमगार्ड तैनात किये जायेंगे.
बांका, भागलपुर, मोतिहारी, जमुई, मुजफ्फरपुर, मधेपुर, बेगूसराय, लखीसराय, शेखपुरा, सारण आदि जिलों में अतिरिक्त पुलिस पदाधिकारियों और बलों की प्रतिनियुक्ति की जायेगी. कांवरिया सुल्तानगंज से गंगाजल लेकर 105 किमी दूर देवघर स्थित बाबा बैद्यनाथ का जलाभिषेक करते हैं. 105 किमी में से 90 किमी का मार्ग बिहार में आता है. मुख्यालय ने सभी एसपी को मंदिरों के आसपास अतिरिक्त सुरक्षा और सतर्कता बढ़ाने को कहा है. अमित कुमार (एडीजी लॉ एंड ऑर्डर ) के आदेश के अनुसार] बांका में 170, मुंगेर में 70 तथा भागलपुर में 100 पुलिस पदाधिकारी की प्रतिनियुक्ति की गयी है.
श्रावणी मेले में करीब 50- 55 लाख श्रद्धालु देवघर जाते हैं. भागलपुर, बांका, मुंगेर में पड़नेवाले कांवरिया पथ पर यातायात व्यवस्था ठीक रखने के लिए ट्रैफिक पुलिस के सिपाही और दारोगाओं को तैनात किया गया है. दमकल और एंबुलेंस तैनात की गयी है.