नये वार्ड परिसीमन की आपत्ति पर डीसी ने की सुनवाई
समाहरणालय में सुनवाई करते दंडाधिकारी सह डीसी अमीत कुमार. – आपत्ति पर कुल 26 लोगों की हुई सुनवाई – विभिन्न वार्डों के पार्षद पहुंचे थे सुनवाई में – कुछ ने नये एरिया को जोड़ने तो कुछ ने हटाने की लगायी गुहार – रोहिणी के लोगों ने भी सुनवाई में रखी अपनी बातें संवाददाता, देवघर देवघर […]
समाहरणालय में सुनवाई करते दंडाधिकारी सह डीसी अमीत कुमार. – आपत्ति पर कुल 26 लोगों की हुई सुनवाई – विभिन्न वार्डों के पार्षद पहुंचे थे सुनवाई में – कुछ ने नये एरिया को जोड़ने तो कुछ ने हटाने की लगायी गुहार – रोहिणी के लोगों ने भी सुनवाई में रखी अपनी बातें संवाददाता, देवघर देवघर नगर निगम के वार्डों के प्रस्तावित नये परिसीमन के विरुद्ध प्राप्त आपत्ति पर दंडाधिकारी सह उपायुक्त अमीत कुमार ने समाहरणालय में सोमवार को सुनवाई की.
प्रस्तावित परिसीमन पर आपत्ति के लिए सुनवाई में विभिन्न वार्डों के पार्षद अनूप वरनवाल, हनुमान केशरी, मंजू देवी, डॉ सुरेश भारद्वाज, मनीषा साह, रमेश दास के अलावा नगर निगम क्षेत्र के लोग भी उपस्थित हुए. पार्षद सहित कुल 26 लोगों की आपत्ति पर सुनवाई हुई. पार्षदों ने वार्डों के नये परिसीमन को लेकर भौगोलिक, जनसंख्या, क्षेत्रफल आदि का हवाला देते हुए कई मुहल्ले को जोड़ने तो कई मुहल्ले को नये वार्डों से हटाने का पुरजोर आग्रह किया. रोहिणी के राहुल व नरेंद्र नाथ मिश्रा उपस्थित हुए थे. सुनवाई के दौरान राहुल ने कहा कि प्रस्तावित वार्ड संख्या चार परिसीमन के लिए जो प्रारूप तैयार किया गया है. उसमें सारमूल, गोसाइडीह, रूप सागर छींट, रूप सागर, मालेडीह, नारायणपुर, खवासडीह, पथरचपटी व मिश्र टोला को रखा गया है.
जबकि रोहिणी का अभिन्न हिस्सा मिश्रा टोला है. मिश्र टोला के चारो ओर फैली रोहिणी की आबादी वार्ड संख्या तीन मंे रह जायेगी. जबकि मध्य का हिस्सा मिश्र टोला वार्ड संख्या चार में चला जायेगा. घनी आबादी व भौगोलिक स्थिति की वजह से यहां के लोगों के साथ अन्याय होगा. इसलिए पूर्ववत का परिसीमन व्यवस्था लागू रहने दिया जाये. सुनवाई पूरी होने के बाद अब लोगों को फाइनल लिस्ट आने का इंतजार रह गया है.