रात भर उसे महिला थाने में रखा गया. साथ में रुमा के पिता जेरकू केरकेट्टा भी थे. सुबह में इनलोगों के अन्य परिजन गुमला से नगर थाना देवघर आये. इसके बाद उनलोगों के हवाले कर पिता-पुत्री को वापस भेजा गया. इस संबंध में रुमा से सारी जानकारी हासिल कर पुलिस पड़ताल में जुटी है.
उसका कहना था कि सहेली की गतिविधि पर शंका होने के बाद पिता-पुत्री वापस लौटने के लिए जसीडीह गये तो वहां तक उनलोगों का पीछा किया गया. इसके बाद दोनों उनलोगों की नजरों से छिप कर पुन: बाबानगरी आ गये. किसी तरह देर रात में मंदिर के समीप एक लॉज में कमरा लेकर ठहरी थी. मोबाइल द्वारा पूरे मामले की जानकारी उनलोगों ने परिजनों को दी थी. इसके बाद ही किसी परिजन ने घटना की सूचना रांची एसएसपी को दी थी. एसएसपी से एसपी ने सूचना पाकर थाना प्रभारी को जांच का निर्देश दिया था. रुमा के अनुसार सहेली समेत उसके लोगों ने उससे प्राइवेट कंपनी में नौकरी लगाने के नाम पर 17 हजार रुपये की मांग भी की थी. पुलिस सभी बिंदुओं को ध्यान में रख कर छानबीन में जुटी है.