जसीडीह : सीमावर्ती इलाके के बूथों पर नहीं दिखे पुलिस जवान
देवघर: जसीडीह थाना क्षेत्र के बिहार सीमा से सटे नक्सल प्रभावित इलाके के अधिकांश बूथों पर पुलिस की व्यवस्था तक नहीं थी. ऐसे में बिना सुरक्षा के ही मतदाताओं ने जम कर वोटिंग की. मतदाताओं के बीच उत्साह इस कदर था कि सुबह से ही लोग अपना वोट देने बूथ पर पहुंचने लगे. हर बूथ […]
देवघर: जसीडीह थाना क्षेत्र के बिहार सीमा से सटे नक्सल प्रभावित इलाके के अधिकांश बूथों पर पुलिस की व्यवस्था तक नहीं थी. ऐसे में बिना सुरक्षा के ही मतदाताओं ने जम कर वोटिंग की. मतदाताओं के बीच उत्साह इस कदर था कि सुबह से ही लोग अपना वोट देने बूथ पर पहुंचने लगे. हर बूथ पर महिला व बुजुर्गों की लंबी कतार लगी हुई थी. सुबह नौ बजे तक इस क्षेत्र के बूथों पर करीब 30 प्रतिशत मतदाताओं ने मताधिकार का प्रयोग भी कर लिया था. पुलिस के नहीं रहने के कारण इन बूथों में बीच-बीच में प्रत्याशी समर्थकों के बीच नोक-झोंक होती रही. लोग एक-दूसरे के खिलाफ फोन पर कंट्रोल रुम व वरीय पुलिस-प्रशासनिक अधिकारियों को शिकायत भी करते रहे.
ग्रामीणों की शिकायत को गंभीरता से लेकर कंट्रोल रुम से पुलिस भी तुरंत भेजी जाती थी. पुलिस ने पहुंच कर कई बूथों पर शांति बहाल कराया. जसीडीह के सीमावर्ती इलाके के बूथ नंबर 65 प्राथमिक विद्यालय भवन बदिया में एक मतदाता के हाथ से एक पक्ष विशेष के लोगों ने मतपत्र छीन कर फाड़ दिया. उक्त बूथ के पीठासीन पदाधिकारी शिवशंकर सोरेन ने गश्ती दल को इसकी रिपोर्ट भी की थी. इसके बाद उक्त बूथ पर दो पक्षों के बीच तनाव की स्थिति बन गयी.
बाद में थाना प्रभारी व गश्ती दल ने पहुंच कर माहौल शांत कराया. इसी प्रकार प्राथमिक विद्यालय मंगनासार बूथ संख्या 64 पर भी दो पक्षों के बीच धक्का-मुक्की हुई. यहां ग्रामीणों के हस्तक्षेप से माहौल नियंत्रित किया गया. बेहरोकी स्कूल के बूथ संख्या 63 पर भी वोटरों के दो पक्षों के बीच कतार लगने को लेकर झंझट हुई थी. हालांकि इन बूथों पर कहीं कोई हिंसात्मक घटना की खबर नहीं है. इस इलाके के अधिकांश बूथों पर पुलिस की बंदोबस्त नहीं के बराबर था. किसी-किसी बूथों पर चौकीदार की ड्यूटी लगी थी.