श्रावणी मेले के दौरान देवघर आये पुलिस पदाधिकारियों व जवानों के आवासन के लिए देवघर के तीन दर्जन से ज्यादा स्कूल भवनों का अधिग्रहण किया गया था. मेला खत्म होने के बाद पुलिस पदाधिकारी व जवान तो लौट गये, लेकिन स्कूल को अस्त-व्यस्त कर छोड़ दिया गया है. स्कूल कैंपस में गंदगी का अंबार है. इतना ही नहीं अधिकांश स्कूलों में बेंच-डेस्क धूप व बारिश में रहने के कारण सड़ने लगे हैं.
यह स्थिति तब है जब सोमवार से स्कूलों में कक्षाएं शुरू हो गयी. राजकीय मध्य विद्यालय (बालक) जसीडीह का वर्ग कक्ष करीब दो माह तक रतनपुर स्थित उत्क्रमित मध्य विद्यालय में चला था. यहां चार सितंबर से कक्षाओं के संचालन के लिए साफ-सफाई करायी गयी, लेकिन स्कूल कैंपस में पड़े बेंच-डेस्क स्कूल प्रबंधन के साथ शिक्षकों के लिए सिरदर्द बन गया है.
खराब हो चुके 100 से ज्यादा बेंच-डेस्क पर छात्र कैसे पढ़ाई करेंगे. बड़ा सवाल है कि स्कूल में अध्ययनरत छात्रों की संख्या चार सौ से अधिक है. वहीं उर्दू मकतब स्कूल में सावन मेले के दौरान उसी कैंपस के एक हिस्से में पढ़ाई करायी गयी. वहां भी बेंच डेस्क बरामदे पर रखा गया था, जो बच गया.