धनबाद पहुंचे सीताराम येचुरी, कहा – देश को मोदी सरकार से मुक्ति चाहिए

धनबाद : सीपीएम के महासचिव सीताराम येचुरी ने कहा कि अब देश को मोदी सरकार से मुक्ति चाहिए. क्योंकि इस सरकार की नीतियों से देश में सांप्रदायिक ध्रुवीकरण बढ़ रहा है. युवाओं में बेरोजगारी और बेचैनी फैल रही है. जो खतरनाक है. अगर युवाओं को सकारात्मक कार्यों में नहीं लगाया गया तो गलत राह पर […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 11, 2018 8:32 PM

धनबाद : सीपीएम के महासचिव सीताराम येचुरी ने कहा कि अब देश को मोदी सरकार से मुक्ति चाहिए. क्योंकि इस सरकार की नीतियों से देश में सांप्रदायिक ध्रुवीकरण बढ़ रहा है. युवाओं में बेरोजगारी और बेचैनी फैल रही है. जो खतरनाक है. अगर युवाओं को सकारात्मक कार्यों में नहीं लगाया गया तो गलत राह पर चल पड़ेंगे. जिससे भविष्य में रोज नये-नये खतरे पैदा होंगे. येचुरी गुरुवार को न्यू टाउन हॉल में पत्रकारों से बात कर रहे थे. इस मौके पर पार्टी के राज्य सचिव जीके बक्शी, असीम हलधर और शुभम उपस्थित थे.

उन्होंने कहा : मोदी साहब अच्छे सुझाव नहीं मानते. उनका सिर्फ एक एजेंडा है. वह समाज को बांट कर चुनावी लाभ लेने के प्रयास में लगे हैं. यह अब तक की सबसे गंदी राजनीति है. 2019 के आम चुनाव में वैकल्पिक कार्यक्रम के आधार पर वाम जनवादी व धर्मनिरपेक्ष दलों के साथ गठबंधन कर इस चुनौती का मुकाबला करेंगे.
पूंजीपतियों को टैक्स में मिलने वाले छूट बंद करो, कर्ज लेने वाले को दिवालिया घोषित करते हुए उसकी संपत्ति जब्त करो. इनसे आए पैसे से गावों में सड़क बनाओ. बंद कल-कारखाने खोलो. विकास करो और बेरोजगारों को रोजगार दो. पर इस सरकार में पूंजीपतियों पर एक्शन लेने की हिम्मत नहीं है.
नये साल की सौगात
मोदी साहब को देश के विकास, किसानों की समस्या आदि की कोई चिंता नहीं है. इन्हें सिर्फ चिंता है तो यह कि पूंजीपतियों को लाभ कैसे पहुंचे एवं देश में विदेशी पूंजी कैसे आए. इसके लिए उन्होंने एअर लाइन, खुदरा व्यापार और रियल स्टेट में एफडीआइ की अनुमति देकर देश को नये साल की सौगात दी है. विदेशी पूंजी पर निर्भरता देश के स्वाभिमान के खिलाफ है.
एनपीए पर एक्शन नहीं
मोदी सरकार एनपीए पर कोई कार्रवाई नहीं कर रही है.किसान आत्म हत्या कर रहे हैं. किसानों को पैदवार के न्यूनतम मूल्य नहीं मिल रहा है. जबकि सरकार देने का वादा किया था. किसानों के अनाज एफसीआई खरीद नहीं रहा है.कई राज्यों ने किसानों के कर्ज माफी की घोषणा किया. पर आज तक लागू नहीं पाया.
जांच में भेदभाव
येचुरी ने पनामा पेपर कांड में मोदी का नाम शामिल होने का आरोप लगाते हुए कहा कि भाजपा अध्यक्ष अमित शाह का बेटा का मामला हो या राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल के बेटे का नाम. कोई जांच नहीं हो रही है. जबकि पाक पीएम का नाम पनामा पेपर में आने के बाद उनके खिलाफ जांच शुरू हुई और उन्हें पीएम पद छोड़ना पड़े.ये सरकार जांच के नाम पर भेद भाव कर रही है.
तीन तलाक
तीन तलाक के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि इस पर पार्टी का स्टैंड क्लीयर है. तीन तलाक गलत है. समाप्त होना चाहिए. लेकिन ये सरकार ने जो कानून लाया है वो भी गलत है. इस पर चर्चा होना चाहिए. पति को जेल जाने पर महिला और बच्चों का भरण पोषण कौन करेगा ? क्या सरकार पैसा देगी. सीपाआई के सीपीएम पर विलय के सवाल पर कहा कि सीपीआई का कहना है कि दोनों पार्टी के उच्च नेताओं में बातचीत के बाद विलय हो जाए. जबकि हमारा मानना है नीचे से जन संगठनों के आंदोलन साथ – साथ करें. ट्रेड यूनियन में यह हो रहा है. यानी विलय की बात नीचे से होना चाहिए.

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