ट्रेनों में लंबी वेटिंग, बसों में भी नो सीट, छठ के लिए देस जाने वाले यात्रियों की बढ़ी परेशानी

धनबाद : 11 नवंबर से छठ का महापर्व शुरू होने जा रहा है. ऐसे में धनबाद से बिहार अपने देस जाने वाले यात्रियों की मुश्किलें इस बार ज्यादा बढ़ गयी हैं. धनबाद से खुलने व गुजरने वाली ट्रेनों में नो रूम की स्थिति है, जबकि बिहार जाने वाली ट्रेनों की संख्या भी गिनी चुनी है. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 9, 2018 4:57 AM
धनबाद : 11 नवंबर से छठ का महापर्व शुरू होने जा रहा है. ऐसे में धनबाद से बिहार अपने देस जाने वाले यात्रियों की मुश्किलें इस बार ज्यादा बढ़ गयी हैं. धनबाद से खुलने व गुजरने वाली ट्रेनों में नो रूम की स्थिति है, जबकि बिहार जाने वाली ट्रेनों की संख्या भी गिनी चुनी है.
लंबी वेटिंग :
धनबाद से बिहार जाने वाली प्रमुख ट्रेनों में गंगा-दामोदर, लुधियाना, धनबाद-पटना इंटरसिटी, मौर्य एक्सप्रेस व धनबाद-सीतामढ़ी स्पेशल ट्रेन हैं. इन पांचों ट्रेनों में यात्रियों के लिए आरक्षण उपलब्ध नहीं है. मौर्य एक्सप्रेस रांची से खुलने के बाद धनबाद के रास्ते बिहार होते हुए गोरखपुर तक जाती है, लेकिन यह ट्रेन में पिछले तीन माह से फुल चल रही है और नो रूम की स्थिति है.
वहीं गंगा-दामोदर एक्सप्रेस, लुधियाना व धनबाद-पटना इंटरसिटी एक्सप्रेस में वेटिंग 150 से पार है, जबकि सीतामढ़ी स्पेशल में 10 नवंबर को लंबी वेटिंग है. ऐसे में आम यात्रियों को बिहार जाने में काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ेगा. साधारण बोगी में यात्रियों को पैर रखने तक का स्थान नहीं रहेगा.
धनबाद-सीतामढ़ी फुल तत्काल पर भरोसा
धनबाद. धनबाद-सीताम0ढ़ी छठ स्पेशल ट्रेन शनिवार 10 नवंबर को धनबाद से सीतामढ़ी के लिए रवाना होगी. लेकिन इस ट्रेन के सभी श्रेणी में लंबी वेटिंग हैं, स्लीपर से लेकर एसी बोगी तक सीट उपलब्ध नहीं है. ऐसे में यात्री चाहे तो तत्काल में टिकट ले सकते हैं. लेकिन यदि चुके तो साधारण बोगी में सफर करना पड़ेगा, जबकि 17 नवंबर को जाने वाली ट्रेन पूरी तरह से खाली है.
गंगा-दामोदर में दो अतिरिक्त कोच जुड़ेंगे
लंबी वेटिंग को देखते हुए धनबाद रेल मंडल ने गंगा-दामोदर एक्सप्रेस में दो एक्स्ट्रा कोच जोड़ने का फैसला किया है. इसमें एक स्लीपर व एक थर्ड एसी का कोच जोड़ा जायेगा. एक्सट्रा कोच आठ, नौ, 10 व 11 नवंबर को जोड़ा जायेगा. उसके बाद कई यात्रियों को सीट उपलब्ध हो पायेगी. लेकिन इसके अलावा अन्य किसी ट्रेन में कोच नहीं जुड़ पायेगा. खास कर एलएचबी रैक होने के बाद लुधियाना एक्सप्रेस में अतिरिक्त कोच नहीं जोड़ा जा सकता है.
बसें फुल, चारपहिया से घर जा रहे लोग
धनबाद के यात्री अब सड़क मार्ग से जाने की तैयारी में जुट गये हैं. धनबाद से पटना जाने के लिए दो बसें चलती हैं. एक एसी और दूसरा नन-एसी बस चलती है. एसी बस में 400 रुपया सीट व स्लीपर 450 रुपया किराया है, जबकि नन-एसी में सीट 290 रुपया व स्लीपर 320 रुपया है. लेकिन इस बार तो आठ नवंबर से लेकर 10 नवंबर तक इसकी सभी सीटें फुल हो चुकी है.
इसके कारण लोगों को अपने स्तर से चारपहिया वाहन उपलब्ध कराना पड़ रहा है. स्कॉर्पियो, इनोवा व लंबी गाड़ियां एक दिन का 1200 से 1500 रुपया ले रही हैं और पेट्रोल अलग से लिया जा रहा है, जबकि छोटी गाड़ियां एक दिन में 800 से एक हजार रुपया में बुक हो रही हैं.

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