पैसे के अभाव मंे बेरोजगार हुए मजदूर, 436 योजनाएं ठप
-प्रखंड में सफेद हाथी बनी मनरेगा-दो माह से नहीं मिल रहा है कार्यबाघमारा. प्रखंड के मनरेगा मजदूर दो माह से कार्य के अभाव मंे बेरोजगार बैठे हैं़ पिछले दो माह से मनरेगा मद मंे पैसे का अभाव होने से ऐसी स्थिति उत्पन्न हुई है. लगभग 436 योजनाएं बंद पड़ी हैं. एक तरफ सरकार ने यह […]
-प्रखंड में सफेद हाथी बनी मनरेगा-दो माह से नहीं मिल रहा है कार्यबाघमारा. प्रखंड के मनरेगा मजदूर दो माह से कार्य के अभाव मंे बेरोजगार बैठे हैं़ पिछले दो माह से मनरेगा मद मंे पैसे का अभाव होने से ऐसी स्थिति उत्पन्न हुई है. लगभग 436 योजनाएं बंद पड़ी हैं. एक तरफ सरकार ने यह घोषणा कर रखी है कि हर हाथ को काम दिया जायेगा. जितना काम उतना दाम मिलेगा. लेकिन यह घोषणा प्रखंड मंे सफेद हाथी बन कर रह गयी है़ देखा जा रहा है कि मनरेगा कर्मियों को पैसे के अभाव मंे कर्ज का सहारा लेना पड़ रहा है़ प्रखंड मनरेगा कर्मचारी संघ के सचिव संतोष कुमार बताते हैं कि प्रखंड मंे 32 रोजगार सेवक के साथ-साथ दो पदाधिकारी कार्यरत हैं, जो फरवरी, 2014 से मानदेय बकाया रहने से बदहाल स्थिति मंे पहुंच गये हैं. प्रखंड के मनरेगा कार्यक्रम पदाधिकारी निशित कुमार बताते हैं कि चुनाव के कारण राज्य से जिला को और जिला से प्रखंड को आवंटन नहीं मिला है. उम्मीद है कि शीघ्र ही आवंटन प्राप्त होगा और कार्य प्रारंभ कर दिया जायेगा़