अस्थिर सरकारों के कारण विकास नहीं : तुबिद

धनबाद: राज्य के पूर्व गृह सचिव-सह-भाजपा नेता ज्योति भ्रमर तुबिद ने कहा कि अस्थिर सरकारों के कारण झारखंड का समुचित विकास नहीं हुआ. 14 साल बाद राज्य में बहुमत की सरकार बनी है, अब विकास कार्य होंगे. तुबिद राष्ट्रीय स्वाभिमान आंदोलन की ओर से शुक्रवार से होने वाले प्रांतस्तरीय प्रशिक्षण शिविर सह स्वाभिमान उत्सव में […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 5, 2015 8:29 AM
धनबाद: राज्य के पूर्व गृह सचिव-सह-भाजपा नेता ज्योति भ्रमर तुबिद ने कहा कि अस्थिर सरकारों के कारण झारखंड का समुचित विकास नहीं हुआ. 14 साल बाद राज्य में बहुमत की सरकार बनी है, अब विकास कार्य होंगे. तुबिद राष्ट्रीय स्वाभिमान आंदोलन की ओर से शुक्रवार से होने वाले प्रांतस्तरीय प्रशिक्षण शिविर सह स्वाभिमान उत्सव में भाग लेने के लिए गुरुवार को यहां पहुंचे. उन्होंने आज ही सहराज गांव स्थित चेतना महाविद्यालय में लोगों के साथ बैठक भी की.
प्रभात खबर से बातचीत में उन्होंने कहा कि 27 वर्षो के बाद सहराज जाने का मौका मिला. 1987 में जब यहां डीडीसी थे तभी दिगंत पथ से जुड़े और 1988 में पहली बार सहराज गये थे. इससे जुड़ने वाले लोग ग्रामीण क्षेत्र में नि:स्वार्थ काम करते हैं और युवाओं में जोश भरते हैं. अब ये लोग दूसरी जगह भी अच्छा काम कर रहे हैं.
सहकारिता अच्छी, पर झारखंड में बदनाम : पूर्व आइएएस अधिकारी ने कहा कि बिहार-झारखंड में सहकारिता बदनाम रही है, जबकि यह बहुत अच्छी चीज है. इसे बढ़ावा देना चाहिए. गुजरात में सहकारिता के कारण ही कई कंपनियां ब्रांड बनकर न केवल देश, बल्कि विदेशों में भी छा गयी. ऐसा ही काम यहां भी करने की जरूरत है. इसमें लोगों की भागीदारी भी बहुत जरूरी है.
जल, जंगल, जमीन बचाने के लिए सामंजस्य जरूरी : उन्होंने कहा कि यहां जल, जंगल और जमीन बचाने के लिए मुहिम चल रही है. लेकिन इसके लिए सामंजस्य बैठाना बहुत जरूरी है. उन्होंने कहा कि वन बचाना पर्यावरण के लिए जरूरी है. साथ ही यह भी सच है कि बिना उद्योग लगाये विकास नहीं हो सकता. इसके लिए जरूरी है कि पथरीली जमीन पर उद्योग लगाये जाएं. खास कर जहां खान और खनिज हों. पेसा कानून में भी इसके लिए प्रावधान है, इसका सख्ती से पालन होना चाहिए. विस्थापन की समस्या का समाधान किया जाना चाहिए.
राजकमल विद्या मंदिर भी गये : तुबिद राजकमल सरस्वती विद्या मंदिर भी गये , वहां उन्होंने सहकार भारती के कार्यक्रम के बारे में जानकारी ली. उन्होंने कई टिप्स भी दिये. मौके पर शैलेंद्र सिंह, केशव हड़ोदिया, अमरेंद्र पाठक, सुमन अखौरी, परेश चौहान, किरीट चौहान सहित अन्य लोग उपस्थित थे.

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