पिछले कुछ समय से शहर में ऑटो और टोटो चालक ड्रेस कोड के प्रशासनिक आदेश की धज्जियां उड़ा रहे हैं. ऑटो चालक खाकी व टोटो चालक नीले रंग की वर्दी पहननी है, लेकिन इस आदेश का शहर के अधिकांश चालक उल्लंघन कर रहे हैं. इससे यात्रियों की सुरक्षा पर भी सवाल उठ रहा है. प्रशासनिक आदेश जारी करने के कुछ दिनों तक परिवहन विभाग ने अभियान भी चलाया. इस दौरान अधिकांश चालक वर्दी पहनने थे. बाद में विभाग के सुस्त रवैये के बाद जांच अभियान बंद हो गया. बाद में ऑटो व टोटो चालकों ने भी वर्दी पहननी छोड़ दी.
ड्रेस कोड का पालन करने पर साथी चालक ही उड़ाते हैं मजाक :
ऑटो व टोटो चालकों से ड्रेस कोड को लेकर बात करने पर उन्होंने बताया कि वे वर्दी पहनना, तो चाहते हैं. मगर उनके कुछ साथी ही उनका मजाक उड़ाते हैं. उन्हें डरपोक कर चिढ़ाया जाता है. इस वजह से बाकी चालकों की तरह वह भी वर्दी नहीं पहनते हैं.सड़क पर टोटो दौड़ाते हैं नाबालिग :
शहर सड़क पर बगैर वर्दी के नाबालिग भी टोटो दौड़ाते हैं. इससे दुर्घटना का खतरा बना रहता है. नाबालिग न केवल अपनी, बल्कि अन्य राहगीरों की जान भी खतरे में डाल रहे हैं. उसको लेकर भी प्रशासन द्वारा कोई कारवाई नहीं की जा रही है. इससे चालकों के मन में प्रशासन का डर नहीं दिखता है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है