सिंदरी.
बीआइटी सिंदरी की स्थापना के 75 वर्ष पूरा होने पर शुक्रवार को संस्थान के देशपांडे सभागार में तीन दिवसीय प्लैटिनम जुबली महोत्सव की भव्य शुरुआत की गयी. संस्थान के निदेशक डॉ पंकज राय के नेतृत्व में सभी शिक्षक व विद्यार्थी प्रशासनिक भवन से लेकर देशपांडे सभागार तक नगाड़े की धुन पर झूमते हुए पहुंचे. यहां निदेशक डॉ. पंकज राय, कैरियर डेवलपमेंट काउंसिल के चेयरमैन डॉ. धनश्याम और एलुमनाई एसोसिएशन के डीन डॉ. प्रकाश कुमार को संयुक्त रूप से समारोह की औपचारिक शुरुआत की. उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए कार्यक्रम के मुख्य अतिथि एनएचपीसी के सीएमडी राज कुमार चौधरी ने संस्थान के 75 वर्ष पूरा होने पर शुभकामनाएं दीं और भविष्य में हर संभव सहयोग की बात कही. इस दौरान आयोजित दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सेमिनार ””रिसेंट एडवांसमेंट इन इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी”” में निदेशक डॉ. पंकज राय ने कहा कि इस सेमिनार के निष्कर्ष इंजीनियरिंग के क्षेत्र में नया आयाम जोड़ने में सहायक होंगे. माइनिंग इंजीनियरिंग के डिजिटाइजेशन और एआइ के उपयोग पर आयोजित पैनल चर्चा में बीसीसीएल के जीएम चितरंजन कुमार, आइआइटी खड़गपुर के प्रो. अभिराज कुमार शर्मा, डब्ल्यूसीएल के विनोद कुमार और सिंफर धनबाद के प्रिंसिपल साइंटिस्ट डॉ. एमपी राय ने अपने विचार रखे. वहीं साइबर सुरक्षा, चुनौतियां और समाधान पर आयोजित सेशन में साइबर विद्यापीठ के निदेशक शशांक शेखर गरुरयार और टीसीएस के बाल कृष्ण वर्णवाल ने कहा कि बढ़ते साइबर हमलों के मद्देनजर, संगठनों को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और मशीन लर्निंग का उपयोग बढ़ाना चाहिए. इंजीनियरिंग और प्रौद्योगिकी पर हो रहे अंतरराष्ट्रीय पैनल डिस्कशन के तहत “सस्टेनेबल डेवलपमेंट और भारत की ऊर्जा संक्रमण ” पर चर्चा हुई. इस पर एचआरपी यादव, अमेठी विश्वविद्यालय, गुरुग्राम ने कहा कि हम सौर और जल से प्राप्त ऊर्जा का उपयोग बड़े पैमाने पर कर रहे हैं. ऊर्जा की बढ़ती मांग को पूरा करने के लिए हमें नवीकरणीय ऊर्जा पर निर्भर होना चाहिए. भारत ने 300 मेगावाट नवीकरणीय ऊर्जा उत्पादन में सफलता प्राप्त की है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है