एफएसटीपी के लिए निगम को नहीं मिल रहे संवेदक,

फिकल स्लज ट्रीटमेंट प्लांट के लिए नगर निगम को संवेदक नहीं मिल रहे हैं. इसके नहीं बनने से सेप्टिक टैंक की गंदगी नालों में गिरायी जा रही है.

By Prabhat Khabar News Desk | August 24, 2024 1:35 AM

मुख्य संवाददाता, धनबाद.

फिकल स्लज ट्रीटमेंट प्लांट (एफएसटीपी) के लिए नगर निगम को संवेदक नहीं मिल रहे हैं. एफएसटीपी के लिए दो बार टेंडर निकला लेकिन कोई संवेदक टेंडर में टर्न अप नहीं हुये. 22 अगस्त को टेंडर डालने की अंतिम तिथि थी, लेकिन किसी संवेदक ने इसमें भाग नहीं लिया. ऐसे में नगर निगम ने तीसरी बार टेंडर निकालने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. बतातें चलें कि एफएसटीपी नगर निगम का महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट है. इसके नहीं बनने से शहर के नालों में सेप्टिक टैंक की गंदगी गिरायी जा रही है. शहर में सेप्टिक टैंक की सफाई का काम नगर निगम के अलावा 10 प्राइवेट एजेंसी कर रही हैं. सेप्टिक टैंक से निकलने वाले मल का निस्तारण फिकल स्लज ट्रीटमेंट प्लांट में करना है. लेकिन यह प्लांट नहीं होने के कारण इसका निस्तारण शहर के बड़े नालों में किया जा रहा है.

जीतपुर में बनना है एफएसटीपी :

नगर निगम क्षेत्र का पहला एफएसटीपी वार्ड नंबर 38 के जीतपुर में बनना है. इसके लिए जमीन मिल चुकी है लेकिन प्लांट निर्माण के लिए निकाले जा रहे टेंडर में संवेदक भाग नहीं ले रहे हैं. बतातें चले कि रांची में एफएसटीपी का निर्माण पहले ही किया जा चुका है. चिरकुंडा में भी इसका निर्माण शुरू हाे चुका है. लेकिन नगर निगम क्षेत्र में इसके निर्माण की प्रक्रिया अब तक शुरू नहीं की गयी है.

क्या है एफएसटीपी :

फिकल स्लज ट्रीटमेंट प्लांट (एफएसटीपी) में घराें के सेप्टिक टैंक से निकलने वाली गंदगी का निष्पादन वैज्ञानिक तरीके से किया जाता है. इस प्लांट में घराें के सेप्टिक टैंक से निकली गंदगी को पहुंचाया जाता है. मल काे ट्रीट कर खाद बनाया जाता है. वहीं पानी काे शुद्ध कर इसका इस्तेमाल पार्क में लगे पाैधों की सिंचाई या पार्क की सफाई में किया जाता है.

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