धनबाद : झारखंड हाइकोर्ट ने जज उत्तम आनंद की माैत के मामले में स्वत: संज्ञान से दर्ज पीआइएल पर शनिवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से सुनवाई के दाैरान सीबीआइ की स्टेटस रिपोर्ट देखने के बाद नाराजगी जतायी. चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन व जस्टिस सुजीत नारायण प्रसाद की खंडपीठ ने सीबीआइ से जानना चाहा कि आपने चार्जशीट में लिखा है कि आरोपियों की जज के साथ कोई दुश्मनी नहीं थी.
दुर्घटना से पहले उन्हें पता भी नहीं था कि वह जज थे. बाद में उन्हें पता चला. कोई मोटिव नहीं था. इसके बाद भी सीबीआइ अपनी रिपोर्ट में बता रही है कि मर्डर जानबूझ कर (इंटेंशनली) किया गया है, इसे कैसे साबित करेंगे. इस पर सीबीआइ की अोर से माैखिक बताया गया कि 90 दिनों में चार्जशीट अदालत में दायर करनी थी, इसलिए चार्जशीट दायर की गयी है, लेकिन मामले में अनुसंधान अभी जारी है. इसमें कुछ नये तथ्य आ रहे हैं.
सीबीआइ मोटिव के बिंदु पर जांच कर रही है. मामले की अगली सुनवाई के लिए खंडपीठ ने 26 नवंबर की तिथि निर्धारित की. इससे पूर्व सीबीआइ की अोर से जांच से संबंधित स्टेटस रिपोर्ट सीलबंद लिफाफे में प्रस्तुत की गयी. रिपोर्ट के साथ निचली अदालत में दायर की गयी चार्जशीट के बारे में भी जानकारी दी गयी. ज्ञात हो कि धनबाद के जज की दुर्घटना में मौत को हाइकोर्ट ने गंभीरता से लेते हुए उसे पीआइएल में तब्दील कर दिया था.
Posted By : Sameer Oraon