Dhanbad News: बूंद-बूंद के लिए तरस रहा धनबाद का यह इलाका, बीते 5 वर्षों से नहीं हो रही पानी की सप्लाई
Dhanbad News: धनबाद शहर के वार्ड नंबर 54 में पानी की भारी किल्लत है. यहां पर बीते पांच वर्षों से पानी की सप्लाई नहीं हो पा रही है. स्थानीय लोग बताते हैं कि कोरोना महामारी के बाद यहां के लोगों को पानी नहीं मिला है.
धनबाद, अजय उपाध्याय : धनबाद नगर निगम के वार्ड संख्या 54 इथित अंबेडकर कॉलोनी में पिछले 5 वर्षो से पानी की सप्लाई नहीं हुई. स्थानीय लोगो ने बताया कि कहने के लिए यहां दो पाइपलाइन लगाया गया. एक माडा और दूसरा नगर निगम के द्वारा. लेकिन एक से कुछ दिनों तक पानी की सप्लाई हुई तो वहीं माडा द्वारा बिछाई गई पाइप लाइन से पानी की बूंद भी नसीब नहीं हुआ.
नगर निगम से शिकायत के बावजूद नहीं हुआ समाधान
शहरी क्षेत्र होने के साथ साथ वार्ड 55 व 54 के बीचों बीच यह कॉलोनी है. धनबाद नगर निगम से इसकी शिकायत कई बार शिकायत की गयी इसके बावजूद अंबेडकर कॉलोनी की सुधि लेने वाला कोई नहीं आया. वर्ष 2020 में कोरोना महामारी से पहले यहां पानी की सप्लाई हो रही थी उसके बाद से यहां के लोगों को पानी नहीं मिला.
क्या कहा स्थानीय लोगों ने
स्थानीय निवासी चंद्रवती देवी ने कहा कि हमलोगों के मुहल्ले में विगत 5 वर्षो से पानी की सप्लाई नहीं हुई है. ठंड के दिनों में भी हमलोग एक-एक बूंद पानी के लिए तरस रहे हैं. गर्मी में तो एक किलो मीटर दूर कपड़ा धोने और नहाने के लिए जाना पड़ता है.
चंद्रवती देवी
एक अन्य स्थानीय गोपाल प्रसाद ने बताया कि हमलोग मजदूर वर्ग से हैं. आधा दिन तो हमें पानी की व्यवस्था करने में चला जाता है. कॉलोनी के अधिकांश चापाकल खराब है. पानी के लिए सुबह 4 बजे से एक किलो मीटर दूर तक लाइन लगना पड़ता है.
गोपाल प्रसाद
वहीं कॉलोनी की रहने वाली चंपा देवी ने कहा कि वोट के समय हर पार्टी के जनप्रतिनिधि अंबेडकर कॉलोनी को आते हैं. समस्यों के निदान की बात करते हैं. लेकिन वोट मिलने के बाद वे पूछने तक नहीं आते हैं. आज हमलोग बीते 5 वर्षों से पानी के एक एक बूंद के लिए तरस रहे हैं परंतु हमारी सुनने वाली कोई नहीं.
चंपा देवी
स्थानीय निवासी रेखा देवी बताती हैं कि पिछले 5 वर्षों से पानी नही आ रहा है. जो चापाकल है वह भी खराब पड़ा है. जिससे हमें भारी भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. रेलवे ट्रैक पार करके हमलोग पानी लेने जाते हैं. कोई भी अधिकारी इस दिशा में कोई सकारात्मक पहल नहीं करता है.
रेखा देवी